- बारिश से बरेली में 51 फीसदी फसल हुई बर्बाद
- बारिश के बाद से हरी सब्जियों के दाम 30 रुपए तक बढ़े
BAREILLY: मौसम की मार झेल रही हरी सब्जियों के दाम ने आंखें तरेरनी शुरू कर दी है। होली के समय और फिर पिछले दिनों हुई बारिश ने हरी सब्जियों को पूरी तरह से तबाह कर दिया है। लोकल सब्जियों के खराब होने से पंजाब, राजस्थान और गुजरात से सब्जियों को मंगाना पड़ रहा है। कुछ ही दिनों में सब्जियों के दाम ने आसमान छूना शुरू कर दिया है। होलसेल और रिटेल मार्केट दोनों ही जगहों पर महंगाई का असर देखने को मिल रहा है। नतीजा खाने के टेबल से सब्जियां गायब होने लगी हैं। लोग अब दो-दो सब्जियों की जगह एक से ही काम चलाने को मजबूर हैं।
बारिश ने मचायी तबाही
बारिश ने बरेली डिस्ट्रिक्ट में भ्क् परसेंट फसलों को बर्बाद करके रख दिया है। संयुक्त कृषि निदेशक विभाग की ओर से तैयार किए गए आंकड़े कुछ ऐसा ही इंगित कर रहे हैं। बरेली डिस्ट्रिक्ट में गेहूं, जौ, चना, मटर, मसूर, राई, सरसों, आलू और हरी सब्जियां टोटल ख्0क्ख्8ब् हेक्टेयर में बोया गया था। लेकिन, पिछले दिनों हुई बारिश से क्ख्म्भ्ख्7.9 हेक्टेयर फसल बर्बाद हुई है। सिर्फ हरी सब्जियों की बात करें तो, ख्ख् फीसदी फसल बारिश से बर्बाद हुए है। एक्सपर्ट की मानें तो, वर्तमान समय में सब्जियों के महंगाई का ग्राफ तो बढ़ ही रहा है। मई-जून महीने में भी महंगाई से लोगों को राहत मिलने वाली नहीं है।
बाहर से मंगाई जा रही सब्जियां
शहर की सबसे बड़ी मंडी डेलापीर मंडी है। इस मंडी में टोटल ख्भ्0 होलसेल दुकानें हैं। इनमें सिर्फ सब्जियों के इंपोर्ट और एक्सपोर्ट करने वालों की संख्या क्80 है। होलसेलर पंजाब, चंडीगढ़, आगरा, मथुरा, कोलकाता, रायपुर, हल्द्वानी, बदायूं, फरीदपुर, महाराष्ट्र, नासिक और फरुर्खाबाद जैसी जगहों से हरी सब्जियां मंगाते हैं। मंडी में हरी सब्जियों को छोड़ दिया जाए तो, सिर्फ आलू और प्याज की आवक प्रतिदिन क्क्फ्क् क्विंटल है। बारिश के चलते होलसेल और रिटेल दोनों ही मंडियों में सब्जियों के दाम बढ़ गए हैं। लोकल सब्जियां खराब होने से सब्जियों का खेप बाहर से आ रहा है। ट्रांसपोर्टेशन खर्च बढ़ने से इसका सीधा असर प्राइस पर देखने को मिल रहा है।
होलसेल के मुकाबले रिटेल और महंगी
होलसेल के मुकाबले रिलेट मार्केट में सब्जियों के प्राइस में काफी अंतर है। फसलों के बर्बाद होने के कारण करैला, तोरई, खीरा, लौकी, टमाटर, मिर्च जैसी हरी सब्जियों के आवक कम होने से प्राइस बढ़ गया है। होससेल की अपेक्षा रिटेल में हरी सब्जियां क्0 से फ्0 रुपए तक महंगी बिक रही है। बरेली में म्0 ट्रक सब्जियों की खपत रोजाना है। लेकिन, बारिश के चलते आंवला, बहेड़ी, फरीदपुर जैसे लोकल एरिया से सब्जियों के नहीं आने से सब्जियों की खपत भ्0 ट्रक पर आ गयी है। श्यामगंज, नगर निगम, कुतुबखाना, सिटी स्टेशन सभी मंडियों में पहुंचने वाले कस्टमर की संख्या कम हुई है।
कोल्ड स्टोर बढ़ाएगी गर्मी
कोल्ड स्टोर में आलू और प्याज जोकि, पहले से स्टोर करके रखे हुए हैं उन पर भी बारिश का असर देखने को मिल रहा है। बिजनेस से जुड़े लोगों ने बताया कि, बारिश के चलते नमी पैदा होने से स्टोर में रखे हुए आलू-प्याज में सड़न पैदा होनी शुरू हो गयी है। यही नहीं एक पेटी यानि एक बोरा आलू या प्याज रखने की कीमत क्00 से क्ख्0 रुपए तक लगती है। कोल्ड स्टोर में रखने का एक ही मकसद होता है कि, जब आलू व प्याज की सेल हो तो अधिक मुनाफा कमाया जाए।
बरेली में रोजाना खपत होने वाल सब्जियां
आलू - म् ट्रक
प्याज - भ् ट्रक
भिन्डी - ख् ट्रक
खीरा - ब् ट्रक
तोरई - क् ट्रक
लौकी - ब् ट्रक
कद्दू - फ् ट्रक
करैला - क् ट्रक
टमाटर - ब् ट्रक
मिर्च - ख्क् ट्रक
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नोट- जैसा की डेलापीर मंडी के व्यापारियों ने बताया।
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सब्जियों की कीमतें
सब्जी - होली के पहले - अब
प्याज ख्फ् - ख्भ्
आलू 8 - क्0
सेम - ब्0 - म्0
मटर - ख्0 - ब्0
भिन्डी - भ्0 - म्0
बिंस - भ्भ् - म्0
टमाटर - क्8 - फ्0
मिर्च - ब्8 - म्0
अदरक - भ्8 - 80
नोट - दिन और दुकान के हिसाब से रेट में अंतर हो सकता है।
बारिश के चलते लोकल सब्जियां नहीं आ रही हैं। ट्रांसपोर्ट खर्चा कर बाहर से सब्जियों को मंगाना पड़ रहा है, जिसका सीधा असर प्राइस पर पड़ रहा है।
सरताज नवी, होलसेलर
होलसेल से ही सब्जियां महंगी मिल रही हैं। जिसके कारण मजबूरन हम लोगों को भी महंगे दामों में कस्टमर को सब्जियां बेचनी पड़ रही है।
अशोक, सब्जी विक्रेता
सेम, मिर्च और टमाटर के दाम में सबसे अधिक इजाफा देखने को मिल रहा है। कस्टमर भी अब कम सब्जियां ले रहे हैं।
रामदास, सब्जी विक्रेता
सब्जियों के महंगा होने से घर का बजट बिगड़ गया है। घर का बजट मेंटेन करने के लिए दूसरी चीजों में कटौती करनी पड़ रही है। बजट बनाए रखने के लिए जो सब्जियां थोड़ी सस्ती हैं उन्हीं को प्रिफर करती हूं।
वंदना सिंह, हाउसवाइफ
सब्जियों को खरीदने के लिए मैं ही मार्केट आता हूं। जब से सब्जियां महंगी हुई तब से सभी सब्जियों में कमी कर दी हैं। जो सब्जी एक केजी लेनी होती है उसे तीन पाव ही लेते है।
अमन, स्टूडेंट