13 district का है लोड
बरेली पासपोर्ट ऑफिस के अंतर्गत बरेली, बदायूं, पीलीभीत, संभल, बिजनौर, एटा, फिरोजाबाद, अमरोहा, काशीराम नगर, मैनपुरी, मुरादाबाद, रामपुर और शाहजहांपुर सहित 13 डिस्ट्रिक्ट्स आते हैं। इन डिस्ट्रिक्ट्स से जनरल और तत्काल पासपोर्ट बनवाने के लिए पासपोर्ट सेवा केंद्र की साइट पर हर रोज हजारो लोग क्लिक करते हैं। वहीं इस साइट पर हर रोज जनरल के लिए 300 और तत्काल के लिए 50 कैंडीडेट्स का ही टाइम बुक किया जाता है। इस वजह से तत्काल और जनरल दोनों तरह के पासपोर्ट के लिए अप्लाई करने वाले कैंडीडेट्स की लंबी-चौड़ी वेटिंग लिस्ट तैयार हो रही है।
तत्काल ही कर रहे हैं prefer
जनरल पासपोर्ट के लिए अप्लाई करने वालों की भीड़ से बचने के लिए ऐसे लोग भी जिन्हें अर्जेंट टै्रवेल नहीं करना है वह भी तत्काल पासपोर्ट के लिए ही अप्लाई करना प्रिफर कर रहे हैं। ऐसे में इस कैटेगरी में अप्लाई करने वालों की संख्या और बढ़ती जा रही है और टाइम लेने के लिए लोगों को महीनों तक लगातार ट्राई करना पड़ रहा है। वहीं कैंडीडेट्स की इस बढ़ती संख्या की वजह से सेवा केंद्र के सर्वर पर भी लोड बढ़ रहा है जो समस्या का कारण बन रहा है।
Late होने का क्या है reason
कैंडीडेट्स के अकॉर्डिंग पासपोर्ट के लिए अप्लाई करने के बाद भी पुलिस द्वारा समय से वेरिफिकेशन नहीं किया जाता है। एक-दो महीने के बाद भी पुलिस रिपोर्ट नहीं सौंप पाती है। जब भी पासपोर्ट ऑफिस आकर इंक्यावरी की जाती है तो, यही जबाब मिलता है कि पुलिस ने अभी वेरिफिकेशन रिपोर्ट नहीं सौंपी है। वहीं दूसरी ओर पासपोर्ट सेवा केंद्र में भी कर्मचरियों द्वारा लेट लतीफी की जाती है, जिस वजह से प्रॉब्लम्स फेस करनी पड़ी है।
फर्जीवाड़े का भी ले रहे सहारा
तत्काल पासपोर्ट बनवाने के लिए डॉक्यूमेंट्स के साथ कैंडीडेट्स को एक वैरिफिकेशन सर्टिफिकेट भी अटैच करना होता है। इस सर्टिफिकेट को इश्यू करने का अधिकार कुछ खास अधिकारियों को ही दिया गया है। सर्र्टिफिकेट जारी करने वाले अधिकारियों को कैंडीडेट को यह लिखकर देना होता है कि वह उसे कम से कम एक साल से अच्छी तरह से जानता है। लेकिन पासपोर्ट से जुड़ा मामला होने के कारण अधिकारी यह सर्टिफिकेट देने से परहेज कर रहे हैं। ऐसे में कैंडीडेट्स इस सर्टिफिकेट को लेने में एजेंट्स का सहारा ले रहे हैं। कुछ पैसों के बदले एजेंट्स ये सर्टिफिकेट फर्जी तरीके से बनवा कर दे देते हैं। अधिकारियों के अकॉर्डिंग तत्काल पासपोर्ट के लिए आने वाले 100 आवेदनों में से 10 के साथ फर्जी सर्टिफिकेट ही अटैच होता है। पेपर्स में फर्जीवाड़ा करने वाले कैडीडेट्स के खिलाफ कार्रवाई की जाती है।
ये कर सकते हैं वैरिफिकेशन
वैरिफिकेशन सर्टिफिकेट जारी करने का अधिकार स्टेट के चीफ सेक्रेट्री, स्पेशल सेक्रेट्री, ज्वॉइंट सेक्रेट्री डायरेक्टर, ज्यूडीशिएल मजिस्ट्रेट, डीएम, डिस्ट्रिक्ट पुलिस सुप्रीटेंडेंट, डीआईजी, आईजी और डीजीपी को होता है। इसके अलावा केंद्रीय सेवा व अखिल भारतीय सेवा के सदस्य जो अंडर सेक्रेट्री रैंक के हों और उनका गे्रड पे 6600 से अधिक हो भी किसी कैंडीडेट को यह सर्टिफिकेट जारी कर सकता है।
हर दिन तत्काल पासपोर्ट के लिए अप्लाई करने वाले 50 अभ्यर्थियों को अप्वाइंटमेंट दिया जाता है। जहां तक तत्काल पासपोर्ट के लिए अप्लाई करने वाले अभ्यर्थियों की बात है तो पेंडिंग अभ्यर्थियों की संख्या 200 से अधिक नहीं है। कैंडीडेट्स की संख्या काफी ज्यादा है इस वजह से ऐसा होना स्वाभाविक है।
सीताराम यादव, रीजनल पासपोर्ट ऑफिसर, बरेली
मेरा भाई तीन महीने से तत्काल पासपोर्ट बनवाने के लिए लगा रहा है। तब जाकर डिपार्टमेंट से अप्वाइंटमेंट मिला है। इसके लिए हमें बार-बार पासपोर्ट सेवा केंद्र के चक्कर लगाने पड़े।
हारुन, रामपुर
दो महीने से पासपोर्ट सेवा केंद्र के चक्कर लगा रहा हूं। लेकिन अभी तक अप्वाइंटमेंट नहंीं मिल सका है. पता नहीं कब तक पासपोर्ट बन सकेगा।
वासिम, रामपुर