-तहसील दिवस में आए थे, एसडीएम ने पुलिस को बुलाकर पकड़वाया
- गन्ना समिति सचिव ने दर्ज करा रखी थी रिपोर्ट, मिल पर मोटा बकाया
NAWABGANJ : ओसवाल चीनी मिल प्रबंधन को किसानों का बकाया भुगतान न करना महंगा पड़ा गया। तहसील दिवस में पहुंचे मिल के महाप्रबंधक एवं अध्याक्षी अधिकारी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। एसडीएम ने स्वयं फोन कर पुलिस को बुलाकर उन्हें पकड़वाया था। वह एसडीएम से भुगतान के संबंध में बात करने आए थे। उनके खिलाफ गन्ना समिति सचिव द्वारा रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी, लेकिन उनकी मामले में गिरफ्तारी नहीं हुई थी।
अब तक नहीं किया भुगतान
प्रशासन ने मिल बंद होने से पहले किसानों का गन्ना भुगतान कराने का भरोसा दिलाया था, मगर अभी तक भुगतान नहीं हो सका है। आर्थिक तंगी के चलते किसानों की फसलें सूख रही हैं। ओसवाल चीनी मिल ने वर्ष ख्0क्ख्-क्फ् का ख्ब् करोड़ का भुगतान नहीं किया, जिसको लेकर केन कमिश्नर ने चीनी मिल को क्भ् मई वर्ष ख्0क्फ् तक भुगतान कराने के आदेश दिए थे। ऐसा न करने पर क्8 मई को गन्ना समिति के सचिव प्रदीप यादव ने चीनी मिल के महाप्रबंधक एवं अध्याक्षी अधिकारी कश्मीरा सिंह, उपाध्यक्ष आशीष खन्ना के खिलाफ थाना हाफिजगंज में रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिसके बाद शासन ने चीनी मिल की आरसी जारी कर दी। इसके बाद कई बार मिल की नीलाम होने की तारीख लगती रही, लेकिन प्रशासन स्तर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। ट्यूजडे को तहसील दिवस में दोपहर क्क् बजे चीनी मिल के महाप्रबंधक एवं अध्याक्षी अधिकारी कश्मीरा सिंह तहसील दिवस में पहुंचे और उन्होने एसडीएम प्रेमप्रकाश अंजोर को फ् करोड़ रुपये का भुगतान गन्ना समिति को देने की जानकारी दी। वहीं 7 करोड़ रुपये को लेकर कोर्ट में मुकदमा विचाराधाीन है। इस पर एसडीएम का पारा चढ़ गया। उन्होंने तहसील दिवस मौजूद कोतवाल नवाबगंज देवराज राठी को गिरफ्तार करने के निर्देश दिए, जिसके बाद नवाबगंज पुलिस उन्हें गिरफ्तार कर कोतवाली ले आई। दोपहर में उन्हें थाना हाफिजगंज पुलिस ने अपनी कस्टडी में ले लिया।