बरेली (ब्यूरो)। सहारनपुर की टपरी डिस्टलरी में टैक्स चोरी का प्रकरण बड़ा मामला था। इसमे विभागीय अधिकारियों की संलिप्तता भी सामने आई। सभी के विरुद्ध एसआइटी ने चार्जशीट लगाई और आरोपित जेल गए। जांच अभी चल रही है। माफिया को संरक्षण देने वाले अफसर बख्शे नहीं जाएंगे, उन्हें जेल भेजा जाएगा। यह बातें शुक्रवार को आबकारी राज्यमंत्री नितिन अग्रवाल ने सर्किट हाउस में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कहीं।

अभी चल रही जांच

सर्किट हाउस में नितिन अग्रवाल मुरादाबाद व बरेली मंडल के आबकारी अफसरों के साथ समीक्षा बैठक को पहुंचे थे। प्रेस कांफ्रेंस में उन्होंने स्वीकार किया कि सपा और बसपा सरकार में आबकारी विभाग में शराब माफिया का ङ्क्षसडिकेट इतना मजबूत था कि नीति-निर्धारण तक वह तय करते थे। इससे राजस्व कहां जाता था, यह सबको पता है। पहले 14 हजार करोड़ तक का राजस्व था। वही वर्ष 2017 में योगी सरकार बनने के बाद बढक़र 36 हजार करोड़ हो गया। इसे बढ़ाकर अब 42 हजार करोड़ किया गया है। प्रदेश सरकार ने 80 से 90 प्रतिशत तक ङ्क्षसडिकेट तोड़ा है, दस प्रतिशत कमी है उसे भी तोड़ेंगे। कहा कि जहरीली शराब से मौत को लेकर अधिकारियों से पहली बैठक में ही इस बात पर नाराजगी जताई थी। साफ कर दिया था कि जहरीली शराब से मौत के प्रकरण में प्रत्येक की जवाबदेही तय होगी। बैठक में उन्होंने आबकारी अफसरों के पेंच कसे। इससे पहले वह रामपुर गार्डन स्थित मनु ङ्क्षसघल के आवास पर पहुंचकर एडवोकेट महेंद्र नाथ अग्रवाल के पुण्यतिथि कार्यक्रम में हिस्सा लिया।

चौतरफा घिरे बरेली के आबकारी अफसर
प्रेस कांफ्रेंस में बरेली के आबकारी अफसर चौतरफा घिर गए। सहारनपुर की टपरी डिस्टलरी प्रकरण से जुड़े आरोपितों को आबकारी अफसरों का संरक्षण, उनकी गाडिय़ों से चलना, फ्लैट का उपयोग करना जैसे सवाल हुए। एक सीओ के हवाले से यह भी मुद्दा उछला कि एक विशेष कालोनी के लोगों को सर्वाधिक शराब के लाइसेंस जारी कर दिये गए। इस पर नितिन अग्रवाल ने कहा कि ऐसा जानकारी में नहीं था। पूरे मामले में जांच कराई जाएगी। माफिया के लिए काम करने वाले अधिकारी कोई भी हो, वह नपेंगे।

हिस्ट्रीशीटर को जारी किए शराब लाइसेंस
मंत्री से यह भी सवाल हुआ कि आबकारी अधिकारियों ने हिस्ट्रीशीटर तक को शराब लाइसेंस जारी कर दिये। इस पर उन्होंने कहा कि सरकार भ्रष्टाचार को लेकर सख्त है। जीरो टालरेंस की नीति के तहत काम किया जा रहा है। यदि ऐसा हुआ है तो पूरे प्रकरण में रिपोर्ट तलब की जाएगी और कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

आबकारी अधिकारी कहते हैं- जवाब देने के लिए डीएम
नितिन अग्रवाल से सवाल हुआ कि आबकारी अधिकारी डीएन दूबे फोन नहीं उठाते। कहते हैं कि हम जवाब देने के लिए नहीं है। इसके लिए डीएम से बात करो। इस पर मंत्री ने कहा कि यह कतई नहीं है। इस सरकार में हर किसी की जवाबदेही है। उन्हें भी जवाब देना होगा। यह उनकी जिम्मेदारी है, ड्यूटी है।

फैक्ट एंड फिगर
2020 में फरवरी से 2021 अक्टूबर तक के मामले
35 केस मंथली
320 टोटल केस अक्टूबर तक

नवंबर 2021 से जनवरी 2022 तक की डिटेल
05 मामले आ रहे वीकली
20 केस मंथली
55 टोटल मामले

फरवरी 2022 से अब तक के केस
08 मामले वीकली
30 मामले मंथली
65 मामले टोटल