लगेगी दलालों पर लगाम

डीएल पोस्ट किए जाने से फर्जी नाम-पते पर लाइसेंस बनवाने वाले दलालों पर लगाम कसी जा सकेगी। अब तक पैसे खर्च कर दलालों के माध्यम से कोई भी गलत नाम और पते पर  आसानी से लाइसेंस बनवा लेता था। बस काम के हिसाब से पैसे खर्च करने पड़ते थे। इसके लिए कस्टमर से पांच सौ से लेकर तीन हजार रुपए तक वसूले जाते थे।

देना होगा टिकट लगा लिफाफा

नई व्यवस्था के अनुसार अब डीएल के लिए एप्लाई करने वाले कैंडिडेट्स को एप्लिकेशन फॉर्म के साथ टिकट लगा एनवलप भी जमा करना होगा। इस एनवलप के द्वारा ही डीएल भेजा जाएगा।

डायरेक्ट मिलते थे लाइसेंस

केंद्रीय मोटरयान नियमावली 1989 के नियम 4 के तहत डीएल के लिए आवेदन करने वाले कैंडीडेट्स को एड्रेस, बर्थ और आईडेंटिटी से रिलेटेड सर्टिफिकेट्स आरटीओ ऑफिस में जमा करने होते थे। इसके बाद डिपार्टमेंट इनकी वैरिफिकेशन कर कैंडिडेट को डीएल उसके हाथ में सौंप देता था। इस पूरे प्रॉसेस में दलाल गलत नाम और एड्रेस का भी वैरिफिकेशन करा देते थे। लेकिन नई व्यवस्था के बाद अगर कैंडिडेट ने फार्म में गलत नाम या पता दिया है तो उसे डीएल नहीं मिल सकेगा।

7 licence reject

डीएल पोस्ट से भेजे जाने से फर्जी पते देने वालों पर लगाम लगनी शुरू भी हो गई है। एक सितंबर के बाद विभाग ने लगभग तेरह सौ लोगों को स्पीड पोस्ट द्वारा लाइसेंस भेजा है। जिनमें से सात लोगों के पते सही न होने के कारण डीएल डिलीवर नहीं हो सका और विभाग के पास वापस आ गया। इन लाइसेंस को विभाग ने कैंसिल कर दिया है।

ड्राइविंग लाइसेंस को कैंडिडेट के एड्रेस पर स्पीड पोस्ट और रजिस्टर्ड पोस्ट के थ्रू भेजा जा रहा है। जिन लोगों ने गलत एडे्रस देकर फार्म एप्लाई किया है उनके डीएल डिलीवर न होकर डिपार्टमेंट के पास वापस आ रहे हैं। इन्हें कैंसिल किया जा रहा है।

- शिवपूजन त्रिपाठी, आरटीओ