बरेली पहुंचे डीजीपी बोले कि भ्रष्टाचारियों को नहीं बख्सा जाएगा

कई अन्य योजनाओं और पुलिस भर्ती के बारे में भी जानकारी

BAREILLY:

भ्रष्टचारियों पर लगाम लगाने के लिए डीजीपी ने प्लान तैयार किया है, जिसके तहत पुलिस की एंटी करप्शन से जुड़ी एजेंसियों को भ्रष्टाचारियों को बड़ा टारगेट दिया गया है। बरेली में ई चालान पेमेंट की शुरुआत करने पहुंचे डीजीपी ने बताया कि प्रदेश में प्रति सप्ताह दो के औसत से एक वर्ष में 100 भ्रष्टचारियों को पकड़ने का टारगेट दिया है। प्रदेश में जांच एजेंसियों ने भ्रष्टाचार के 4 महीने में 29 मामले ट्रेप किए हैं। जिसमें मेरठ जोन में ही अकेले 11 भ्रष्टाचारी पकडे गए। बरेली में भी एंटी आरगनाइजेशन की यूनिट है लेकिन यहां कभी कभार कोई पकडा जाता है। उन्होंने आने वाले समय में पुलिस के बेड़े में शामिल होने वाले फोर्स, टेक्नोलॉजी व नए सिस्टम के बारे में भी जानकारी दी।

- 1 जून से सिटीजन चार्टर एप लांच किया जाएगा, जिसके तहत लोग ऑनलाइन एफआईआर करा सकेंगे।

-जल्द ही प्रदेश में महिला बटालियन की स्थापना की जाएगी। जिसकी क्षमता 1 हजार होगी। सरकार से इस संबंध में प्रस्ताव भेजा गया।

-यूपी 100 का रेस्पांस टाइम कम हुआ है और जल्द ही इसे 10 मिनट किया जाएगा, ताकि पब्लिक को समय पर मदद मिल सके

-कुंभ मेले में टेक्नॉलोजी का अधिक से अधिक इस्तेमाल किया जाएगा, लोगों को तुरंत रेस्पांस दिया जाएगा

-विवेचनाओं में सुधार के लिए सीबीआई की हेल्प ली जाएगी, जुलाई माह से जांच अधिकारियों की ट्रेनिंग शुरू कराई जाएगी

-34 हजार जवानों की ट्रेनिंग जुलाई में एक साथ शुरू होगी। पैरामिलिट्री फोर्स की भी ट्रेनिंग दी जाएगी

-जवानों की कमी है, जनवरी-फरवरी 2019 में 41 हजार पुलिसकर्मियों भर्ती की जाएगी

-क्राइम अगेंस्ट वूमेन के लिए लोगों को संवेदनशील बना रहे हैं, वर्कशॉप्स का आयोजन किया जा रहा है

-महिला सहायता प्रकोष्ट, वूमेन पावर लाइन समेत सभी महिला शाखाओं को इंटीग्रेट किया जा रहा है

-सोशल मीडिया पर एनआरआई के लिए अलग से ट्विटर हैंडल की शुरुआत की गई है

-पुलिस की सुविधाओं का सेटिशफेक्शन 14 परसेंट है, इसमें लगातार सुधार किया जा रहा है

-जहरीली शराब के मामले में 5 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया गया है। सपा नेता के खिलाफ एनएसए की कार्रवाई की जा रही है

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मेयर की तरह विधायकों को धमकी में बरेली पुलिस खाली

मेयर उमेश गौतम की तरह विधायक श्याम बिहारी को धमकी के मामले में पुलिस खाली हाथ ही है। पुलिस सिर्फ एफआईआर दर्ज कर खानापूर्ति कर रही है। जिस तरह से मेयर को दो बार धमकी मिली, जिसमें एक बार मेल के जरिए, जिसका पुलिस आज तक पता नहीं कर सकी है कि धमकी कहां से और किसने दी थी, इसी तरह से विधायक श्याम बिहारी को व्हाट्सएप के जरिए 10 लाख रुपए की रंगदारी और उनके साथ परिवार की हत्या की धमकी मिली है, जिसमें कोतवाली पुलिस सिर्फ एफआईआर दर्ज कर खामोश बैठ गई है। विधायक के घर की सुरक्षा तो बढ़ा दी गई है लेकिन धमकी देने वाले का पता लगाने के लिए सेंट्रल एजेंसियों के सहारे खामोश बैठ गई है। वहीं जब इस मामले में डीजीपी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि विधायकों को धमकी के मामले को गंभीरता से लिया गया है। विधायक डरें नहीं, पुलिस उनके साथ है, और जल्द ही धमकी देने वाले पकड़े जाएंगे।

अब चालान का डिजिटल पेमेंट

अक्सर चेकिंग के दौरान लोग ट्रैफिक पुलिस से चालान काटने पर कहते हैं कि साहब छोड़ दो, दोबारा गलती नहीं करेंगे, पैसे नहीं हैं, साहब नेता जी से बात कर लो बगैरह-बगैरह, लेकिन अब इस तरह का कोई बहाना नहीं चलेगा क्योंकि बरेली पुलिस स्मार्ट हो गई है। पुलिस अब ऐसे लोगों का ई-चालान पेमेंट करेगी और मौके पर ही ऑनलाइन पेमेंट यानी कैशलेस के जरिए शमन शुल्क भी वसूल लेगी। बरेली पुलिस ने एक प्राइवेट बैंक का सहयोग लिया है। फ्राइडे को बरेली पहुंचे यूपी के डीजीपी ओपी सिंह ने इस नए सिस्टम की शुरूआत की। इस दौरान एडीजी जोन प्रेम प्रकाश, आईजी रेंज डीके ठाकुर, डीएम आर विक्रम सिंह, एसएसपी कलानिधि नैथानी और बैंक के क्लस्टर हेड समेत अन्य ऑफिसर मौजूद रहे। इससे पहले डीजीपी की पत्‍‌नी नीलम सिंह ने नवीन मनोरंजन गृह का उद्घाटन किया।

एम पीओएस मशीन से पेमेंट

बैंक ने बरेली ट्रैफिक पुलिस को 25 एमपीओएस मशीनें उपलब्ध कराई हैं। इसके अलावा बैंक में ही ट्रैफिक पुलिस का अकाउंट ओपन किया गया है। जो भी मौके पर चालान कैशलेस करना चाहते हैं, वह डेबिट कार्ड, क्रेडिट कार्ड, यूपीआई या फिर आधार कार्ड के जरिए पेमेंट कर सकते हैं। उन्हें तुरंत पेमेंट की स्लिप मिल जाएगी, इसके अलावा उन्हें ट्रैफिक पुलिस के अकाउंट में रकम ट्रांसफर होने और उनके अकाउंट से रुपए कटने का मैसेज भी पहुंच जाएगा। डीजीपी ने इस सिस्टम को लेकर कहा कि बरेली की तरह प्रदेश के सभी शहरों में इस सिस्टम को लागू किया जाएगा। पुलिस को ट्रेडिशनल के साथ-साथ मॉडर्न और टेक्नोफ्रेंडली भी बनाया जा रहा है।

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ऑफलाइन ट्रैफिक में अभी भी नहीं सुधार

ट्रैफिक पुलिस ऑनलाइन सिस्टम के तहत तो लगातार सुधार कर रही है और केशलेस पेमेंट तक पहुंच गई है। इसके अलावा सोशल साइट्स ट्विटर व फेसबुक पर भी रोजाना अपडेट कर रही है लेकिन यहां सब अच्छा-अच्छा ही दिखाया जाता है। अब डिजिटल पेमेंट की बात करें तो जो लोग ऑनलाइन ट्रांजेक्शन करते हैं वह तो मौके पर पेमेंट कर सकेंगे लेकिन आम पब्लिक यानी जिनके पास न तो रुपए होते हैं और न ही कार्ड, उनके तो कागज जब्त ही हो जाएंगे और उन्हें कागज छुड़ाने के लिए ऑफिस के चक्कर लगाने ही होंगे। वहीं सोशल मीडिया पर ट्रैफिक सिस्टम को लें तो किसी भी चौराहा या प्वाइंट की फोटोग्राफ सोशल साइट्स पर उस वक्त की पोस्ट की जाती है जब वहां का ट्रैफिक स्मूद होता है लेकिन सड़क पर उस एरिया में अधिकतर समय जाम ही लगता रहता है।

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पुलिस को 100 भ्रष्टाचारियों काे पकडने का टारगेट

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डीजीपी शहर में और पुलिस ने कर दिया खेल

कोतवाली पुलिस ने संदिग्धों के नाम पर पकड़े दो युवकों को बना दिया चोर

डीजीपी शहर में थे लेकिन कोतवाली पुलिस को इसका कोई डर नहीं था। कोतवाली पुलिस ने दामोदर पार्क से दो संदिग्ध युवकों किला छावनी निवासी प्रदीप और रंजीत को चेकिंग के नाम पर पकड़ लिया और उनके पास से 18 हजार रुपए और तीन मोबाइल भी छीन लिए। उन्हें 10 घंटे तक भूखा भी रखा। यही नहीं उन्हें छोड़ने के लिए 3 हजार रुपयों की भी मांग की। प्रदीप दिल्ली में ड्राइवर है और रंजीत कूड़ा बीनने का काम करता है। दोनों दिल्ली से बरेली आए थे। रात होने की वजह से पार्क में बैठ गए और सोचा सुबह निकल जाएंगे लेकिन उससे पहले पुलिस ने पकड़ लिया। जब पीडि़त युवकों ने आरोप लगाने शुरू किए तो पुलिस में हड़कंप मच गया। अधिकारियों के निर्देश पर सीओ सिटी वन कोतवाली में जांच करने भी पहुंच गए और एसएचओ गीतेश कपिल को हिदायत भी दे दी। खुद की गर्दन बचाने के लिए बताया गया कि दोनों अपने मालिक के दिल्ली से रुपए चुराकर आए थे, जबकि इस मामले की कोई एफआईआर दर्ज नहीं थी। हालांकि बाद में पुलिस ने दोनों को चोरी के रुपए और मोबाइल के साथ गिरफ्तार दिखा दिया।