बरेली (ब्यूरो)। सोमवार को जिला अस्पताल में मरीजों की खासी भीड़ रही। अधिकांश मरीज वायरल बुखार और त्वचा रोगी अधिक दिखाई दिए। रविवार को अवकाश के बाद सुबह अस्पताल खुला तो सुबह आठ बजे से ही पर्चा बनवाने के लिए लाइन लग गई। पर्चा बनवाने के लिए कई काउंटर खुले थे, लेकिन हर काउंटर पर लाइन लगी हुई थी। महिलाओं की लाइन में भीड़ अधिक दिखाई पड़ी। पर्चा लेकर मरीज ओपीडी पहुंच रहे थे। ओपीडी में फिजिशियन और त्वचा रोग विशेषज्ञ के कक्ष के सामने भीड़ अधिक दिखाई पड़ी। उपचार कराने के लिए आज 1,150 मरीज पहुंचे थे, जिनमें अधिकांश बुखार के मरीज रहे। इसके अलावा त्वचा रोगी भी शामिल थे। दवा काउंटर पर सबसे ज्यादा भीड़ रही। दवा वितरण के पांच काउंटर होने के बाद भी हर काउंटर पर भीड़ दिखाई पड़ी। एडीएसआइसी डा.अलका शर्मा ने बताया कि मरीजों को बेहतर उपचार दिलाने के प्रयास किए जा रहे हैं। सीएमओ कार्यालय परिसर में दिव्यांग प्रमाण पत्र बनाने के लिए सोमवार को साप्ताहिक शिविर भी लगाया गया था। यहां 80 दिव्यांग अपनी समस्या लेकर पहुंचे थे, लेकिन कम ही लोगों के प्रमाण पत्र बनाए जा सके। अधिकांश दिव्यांगों को अगले सोमवार को आने के लिए कह दिया गया।


जिला अस्पताल में डाक्टर से मारपीट

हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ। पीयूष सारस्वत ओपीडी में मरीज देख रहे थे। कुछ दिन पहले आबिदा नाम की एक मरीज जोड़ों में दर्द की शिकायत पर अस्पताल में भर्ती हुई थी। ठीक होने पर सप्ताह भर पहले उसे डिस्चार्ज कर दिया गया था। उन्होंने मरीज के स्वजन से कहा था कि समय-समय पर जांच कराकर उन्हें रिपोर्ट दिखाते रहें, ताकि कोई परेशानी बढऩे पर उपचार किया जा सके। डाक्टर का आरोप है कि उसके परिवार के लोग फोन करके उन्हें परेशान करने लगे थे कि मरीज का सही उपचार नहीं किया और बदनाम करने की धमकी देते हुए रुपये की मांग करने लगे। सोमवार को दोपहर में जब डाक्टर ड्यूटी कर रहे थे तब आबिदा बेटा अल्तमश के साथ आई। एक महिला व दो अन्य पुरुष सरकारी दस्तावेज फाड़ते हुए जान से मारने की धमकी देने लगे। आरोप है कि महिला ने खुद अपने कपड़े फाडक़र छेड़छाड़ में फंसाने की धमकी दी। डाक्टर की तहरीर पर पुलिस ने आबिदा, अल्तमश और अन्य तीन अज्ञात लोगों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।