प्रयागराज ब्यूरो । तेज बहादुर सप्रू (बेली) अस्पताल में करीब 150 मरीज भर्ती है। जिसमें 101 मरीज डेंगू के ही है। यहां गोमती ब्लॉक में डेंगू और सामान्य बीमारियों से ग्रसित मरीजों को एक वार्ड में आसपास में ही रखा गया है। इससे संक्रमण फैलने का खतरा बना हुआ है। इन वार्ड में भर्ती मरीज के तीमारदारों का कहना है कि तीन दिन पहले मरीज का सैंपल जांच के लिए जमा किया गया है। लेकिन अभी तक रिपोर्ट नहीं आई है। जिसके चलते सही से इलाज नहीं हो पा रहा है। वहीं बेली अस्पताल में भर्ती कुछ तीमारदारों का कहना है डेंगू मरीजों के इलाज में लापरवाही की जा रही है। यहां डेंगू के जो मरीज भर्ती है। उनका प्लेटलेट्स कितना है। यह न तो डाक्टर को पता है न तो मरीज और तीमारदार को। तीमारदार परेशान है कि आखिर यहां किससे शिकायत किया जाए। डाक्टर भी अंदाज से इलाज कर चले जाते है।

75 हजार प्लेटलेट्स पर तीन दिन पहले एडमिट हुये थे। अभी प्लेटलेट्स कितना है कोई बताने वाला नहीं है। पैथालाजी का चक्कर लगाते थक गया हूं। डेंगू वार्ड में सामान्य मरीज को भी मर्ज कर दिए है।
रामजी राय

वार्ड के अंदर तक मच्छर है। इन मच्छरों से बचने के लिए कुछ लोगों ने मच्छरदानी लगा रखे है। अस्पताल की तरफ से कोई खास सुविधा नहीं मिल रही है। डाक्टर आते हैं तो जांच रिपोर्ट मांगते हैं। लेकिन अभी रिपोर्ट मिली नहीं है। बस दवा चल रही है।
फूलचंद

बच्चों के वार्ड तक में बड़ों को मर्ज कर
कर दिया है। कोई सही से जानकारी देना वाला नहीं है। प्लेटलेट्स कितना है। यह कम से कम तीमारदारों को न सही डाक्टरों को तो समय पर बताया जाये। लैब से रिपोर्टर बहुत लेट प्राप्त हो रहा है।
सरिता

प्राइवेट अस्पताल का भी बुरा हाल
दैनिक जागरण आई-नेक्स्ट की टीम ने सिटी के तमाम प्राइवेट अस्पतालों का जायजा लिया। वहां भी बड़ी संख्या में डेंगू मरीज मिले। सूत्रों की माने तो लगातार फीवर आने पर डाक्टरों डेंगू मरीज मान कर भर्ती करने की सलाह दे रहे हैं। क्योंकि रिक्स न लेकर फौरन भर्ती हो जा रहे हैं।
सिटी के अंदर प्राइवेट अस्पतालों में डेंगू के नाम पर चार सौ से अधिक पेशेंट भर्ती है।

एक सप्ताह में किस तरह से बढ़ते गए
डेंगू के मरीज
25 अक्टूबर - 28
26 अक्टूबर - 17
27 अक्टूबर - 08
28 अक्टूबर - शून्य
29 अक्टूबर - 23
30 अक्टूबर - 39
31 अक्टूबर - 40