प्रयागराज (ब्यूरो)। हर साल गर्मियों के सीजन में लो वोल्टेज फ्लक्चुएट करने की समस्या आती है। शहर पश्चिमी और दक्षिणी के दर्जनों मोहल्लों में यह दिक्कत कॉमन है। इससे लोगों के घरों में लगे भारी-भरकम और महंगे बिजली उपकरण खराब होने लगते हैं। इस समस्या से निपटने के लिए कई तरह की जुगत भी काम नहीं आती है। बता दें कि शहर को गर्मियों में मंथली 90 मिलियन यूनिट बिजली की जरूरत होती है। लेकिन उपलब्धता 70 मिलियन यूनिट ही है।
संख्या घटी लेकिन कटियामारी जारी
वोल्टेज के अप डाउन के पीछे सबसे बड़ा कारण कटियामारी है। मोहल्लों में लोग बिजली के तारों पर अवैध तरीके से कनेक्शन कर बिजली सप्लाई को बाधित करते हैं। प्रयागराज में तीन साल पहले तीस से चालीस फीसदी लाइन लॉस होती थी। अब यह आंकड़ा 12 से 15 फीसदी पर सिमट गया है। लेकिन, इसका इंपैक्ट ट्रांसफारमर पर पड़ता है। लोड बढऩे से वोल्टेज फ्लक्चुएट करने लगता है।
हर दूसरे घर में लगा है एसी
प्रयागराज में टेम्प्रेचर 46 डिग्री के पार तक पहुंच चुका है। तापमान लगातार 40 डिग्री से अधिक रहने के कारण लोग आसान किस्तों पर एसी खरीद रहे हैं। लेकिन, बिजली का खर्च बचाने के लिए लोड नहीं बढ़वाते। इससे ट्रांसफारमर पर अधिक भार पड़ता है और वोल्टेज मेंटेन नहीं हो पाता। टीवी, फ्रिज, पानी की मोटर, मिक्सी, बल्ब, रॉड आदि फुंकने के पीछे भी वोल्टेज का उतार-चढ़ाव ही है।
क्यों फ्लक्चुएट करता है वोल्टेज
ट्रांसफार्मर से कनेक्शन की दूरी अधिक होने पर
एलटी लाइन की लंबाई अधिक होना
ट्रांसफार्मर को आपूर्ति के मुताबिक बिजली नहीं मिलने पर
एरिया में कटियामारों की संख्या अधिक होने पर
कैसे दूर हो सकती है समस्या
ट्रांसफारमर से पावर के बराबर ही सप्लाई हो
अवैध कनेक्शन का इस्तेमाल बंद हो
बिना लोड बढ़ाए बिजली का यूज हो
110 मिलियन युनिट है शहर में मंथली बिजली की डिमांड
90 मिलियन युनिट बिजली की आपूर्ति हो रही है शहर में
सिटी में वोल्टेज फ्लक्चुएट करने की समस्या बहुत कम एरिया में है। जिन एरिया में इस प्रकार की समस्या विभाग को सुनने में आती है वहां पर विभाग के कर्मचारी मौके पर आजकर उसे दूर करने का प्रयास करते है।
अतुल गौतम एसडीओ