पिछले एक साल में शुक्रवार को कोरोना से सबसे ज्यादा हुई मौत

बढ़ गई संक्रमितों की संख्या, डिस्चार्ज होने वालों की संख्या में इजाफा

अगर आप मास्क नही लगा रहे हैं या सोशल डिसटेंसिंग का पालन करने से बच रहे हैं तो होशियार हो जाइए। क्योंकि कोरोना अधिक जानलेवा हो चला है। शुक्रवार को संक्रमण ने 25 लोगों की जान ले ली जो पिछले एक साल में अब तक का एक दिन में सर्वाधिक रिकार्ड है। इसके पहले कोरोना ने सबसे ज्यादा 22 मरीजों की जान ली थी। जिस तरह से मरने वालों का आंकड़ा बढ़ रहा है वह चिंता का विषय बनता जा रहा है।

बढ़ गई संक्रमितों की संख्या

मौतों की संख्या बढ़ने के साथ जिले में चौबीस घंटे के भीतर संक्रमितों का आंकड़ा भी बढ़ा है। शुक्रवार को 1389 नए संक्रमित मिले हैं। गुरुवार के मुकाबले 122 अधिक मरीज बढ़े हैं। इसके उलट राहत भरी खबर यह है कि डिस्चार्ज होने वालों में जबरदस्त इजाफा हुआ है। एक दिन में सबसे ज्यादा 2210 लोग स्वस्थ हुए हैं। इनमें 47 अस्पताल से घर गए हैं और 2163 मरीजों का होम आइसोलेशन खत्म हो गया है। इस दौरान 15599 लोगों का कोरोना सैंपल लिया गया है।

वेंटीलेटर पर दम तोड़ रहे मरीज

सबसे ज्यादा होने वाली मौतें वेंटीलेटर पर हो रही हैं। जिन मरीजों का फेफड़ा कोरोना से अधिक डैमेज हुआ है उनको बचाना मुश्किल हो रहा है। उनको वेंटीलेटर पर रखा जा रहा है और रिकवरी नही होने से उनकी मौत हो रही है। ऐसे मरीजों को बचाने में डॉक्टर्स भी नाकाम साबित हो रहे हैं। कोरोना से मौतों का सिलसिला कब तक चलेगा इसका जवाब खुद स्वास्थ्य विभाग के पास भी नही है।

निगेटिव होने के बाद भी पीछा नही छोड़ रहा कोरोना

कुछ मरीज ऐसे भी हैं जिनकी कोरोना रिपोर्ट निगेटिव हो चकी है लेकिन अभी भी उनकी हालत गंभीर बनी हुई है। उनको पोस्ट कोविड वार्उ में भर्ती कराया गया है। इनमें कुछ की हालत गंभीर बनी है। डॉक्टर्स का कहना है कि कोरोना के पीछा छोड़ने के बाद भी फेफड़ों पर घाव रह जाते हैं। उनको ठीक होने में टाइम लगता है। तब तक मरीज का स्टेबल रहना जरूरी है।

लोगों के सहयोग के बिना कोरोना से लडाई संभव नही है। लोग शत प्रतिशत मास्क लगाए ंतो संक्रमण के आंकड़े से लेकर मौतों की संख्या कम हो सकती है। हम अपनी पूरी कोशिश कर रहे हैं।

डॉ। ऋषि सहाय, नोडल कोरोना प्रयागराज