प्रयागराज (ब्यूरो)।भारत को हिंदू राष्ट्र कहने को आधार बनाकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग में दाखिल की गयी अर्जी को जिला जज संतोष राय की कोर्ट ने दोनों पक्षों के तर्कों को सुनने के बाद खारिज कर दिया है। याची ने पहले इस याचिका को सीजेएम कोर्ट में दाखिल किया था। वहां से याचिका खारिज हो जाने के बाद इसे जिला जज की अदालत में दाखिल किया गया था।
हिंदू राष्ट्र के बयान पर आपत्ति
जिला जज की कोर्ट में याचिका थाना सराय इनायत के ग्राम जगबंधनपुर के रहने वाले आजम राइन ने दाखिल की थी। उन्होंने इसके लिए दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 156 (3) का हवाला दिया था और प्रार्थना पत्र प्रस्तुत कर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के विरुद्ध मुकदमा दर्ज करने का आदेश जारी करने की प्रार्थना की थी। अर्जी का आधार उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के 16 फरवरी 2023 के बयान को बनाया था। समाचार पत्रों में प्रकाशित इस बयान में सीएम ने भारत को हिंदू राष्ट्र बताया था। बयान के अनुसार सीएम ने कहा था कि यहां का हर नागरिक हिंदू है। याची के अनुसार यह संविधान की प्रस्तावना में दिए गए धर्मनिरपेक्ष शब्द का उल्लंघन है, जो कि भारतीय दंड संहिता की धारा 295 ए, 298 एवं 505(2) के अंतर्गत अपराध है। यह संज्ञेय अपराध की श्रेणी में आता है, इसलिए प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कर विवेचना करने का आदेश पारित किया जाए। जिला जज ने गुरुवार को दोनों पक्षों को सुनने के बाद इस अर्जी को खारिज कर दिया, क्योंकि इसकी कोई ग्राह्यता नहीं पाई गई है।
मेरी तरफ से इस याचिका का विरोध किया गया था। कोर्ट ने हमारी तरफ से की गयी बहस को सही माना और आजम राइन की याचिका को खारिज कर दिया है।
गुलाब चन्द्र अग्रहरी
डीजीसी, फौजदारी