इलाहाबाद केंद्रीय विश्वविद्यालय के एसएसएल हास्टल में भिड़े थे छात्रों के दो गुट

कुलाधिपति के अलावा यूजीसी और चीफ रेक्टर को पत्र भेजकर की गई शिकायत

इलाहाबाद केंद्रीय विश्वविद्यालय के सर सुंदर लाल छात्रावास (एसएसएल) में मारपीट, रैगिंग और बमबाजी का मामला अब विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के चेयरमैन, कुलाधिपति और चीफ रेक्टर यानी राज्यपाल से की गई है। शिकायत करने वाले छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर आरोपित छात्रों का बचाव करने के गंभीर आरोप भी लगाए हैं। जबकि, मामले में विश्वविद्यालय ने छह छात्रों को निलंबित कर दिया है।

हॉस्टल में बगैर अनुमति के रह रहे छात्र

दरअसल, हास्टल में बगैर अनुमति रहने वाले छात्रों के दो गुटों में पिछले दिनों किसी बात को लेकर विवाद हो गया था। इसके बाद एक गुट ने मारपीट और बमबाजी का आरोप लगाया। मामले में कर्नलगंज थाने में मुकदमा भी दर्ज कराया गया। फिर दूसरे पक्ष ने आधी रात बाद रैगिंग का आरोप लगाते हुए लैपटाप, मोबाइल के अलावा शैक्षणिक अभिलेखों को जलाने का आरोप लगा कुलपति प्रो। संगीता श्रीवास्तव, रजिस्ट्रार प्रो। एनके शुक्ल और चीफ प्राक्टर प्रो। हर्ष कुमार से लिखित शिकायत की। आरोप है कि इवि प्रशासन मामले को दबाने में जुट गया तो एंटी रैगिंग पोर्टल पर शिकायत की गई। मामले में आदित्य नारायण सिंह, आयुष सिंह, रोहित कुमार, अभिषेक सिंह, विकास सिंह और प्रवीण सिंह को इवि से निलंबित कर दिया गया। शनिवार को आदित्य नारायण सिंह ने विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के चेयरमैन प्रो। डीपी सिंह, कुलाधिपति आशीष चौहान और चीफ रेक्टर यानी राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से कर दी।

पहले भी निलंबित हो चुका है शिकायतकर्ता

रैगिंग का आरोप लगाने और यूजीसी, कुलाधिपति और राज्यपाल से शिकायत करने वाले छात्र आदित्य नारायण सिंह को विश्वविद्यालय ने एक छात्रा के साथ अभद्र व्यवहार के आरोप में 28 जनवरी 2020 को भी निलंबित किया गया था। वाराणसी के चांदपुर लमही स्थित बड़ा लालपुर के वीडीए कालोनी के आदित्य पर एक छात्रा ने आरोप लगाया था कि उसने 22 जनवरी को शिक्षाशास्त्र विभाग के सामने सरेआम अभद्र व्यवहार किया। छात्रा की शिकायत पर तत्कालीन चीफ प्राक्टर प्रो। रामसेवक दुबे ने तत्काल प्रभाव से निलंबित करते हुए इवि से निष्कासित कर दिया था।