प्रयागराज (ब्यूराे)। गोहरी स्थित पजावा मोहल्ले में कभी दुर्गा पूजा पांडाल नहीं लगा करता था। इस बार मोहल्ले के सारे युवा मिलकर दुर्गा पूजा पांडाल लगाने का मन बनाए। युवाओं की इस नेक सोच व आस्था को देखते हुए गांव के कुछ बुजुर्ग भी सहयोग में उतर पड़े। गांव में दुर्गा पूजा पांडाल लग गया। हर रोज रात आठ बजे मां की पूजा व आरती का समय रखा गया। शुक्रवार शाम करीब छह बजे हिमांचल पटेल पांडाल में पूजा और आरती की तैयारी में जुट गया। पूजा बाद उसे ड्यूटी पर जाना था। तैयारी के वक्त वह पांडाल में लगे एक लोहे के पोल को अचानक पकड़ लिया। बताते हैं कि इस लोहे के पोल में उतरा बिजली का करंट उसकी मौत का कारण बन गया। जब तक लोग उसे बचाने के लिए कुछ करती वह दम तोड़ चुका था। यह देख पूरे गांव और मोहल्ले में दुर्गा पूजा की खुशी गम में तब्दील हो गई। पांडाल में विद्युत करंट से हिमांचल के मौत की खबर से ग्रामीण भाग कर मौके पर पहुंचे। जानकारी मिलते ही पहुंची फाफामऊ पुलिस ने बॉडी को पोस्टमार्टम हाउस भेज दिया गया। शनिवार को उसकी बॉडी लेने के लिए पोस्टमार्टम हाउस पर ग्रामीणों की भीड़ लगी रही। दुर्गा पांडाल में हुई इस घटना से जिले में लगाए गए सभी दुर्गा पूजा पांडाल के जिम्मेदारों को आग भी कर गई।
परिवार में नहीं बचा कोई कमाने वाला
पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे गोहरी पजावा के लोगों की मानें तो दो महीने पहले ही हादसे में हिमांचल के बड़े भाई की मौत हुई थी। बड़े भाई की मौत के बाद पूरे परिवार की जिम्मेदारी हिमांचल के कंधों पर टिक गई थी। उसकी मां व पिता की मौत पहले ही हो चुकी है। परिवार में हिमांचल की पत्नी सुनीता देवी व तीन बेटे एवं एक बेटी बताई गई। भाई के परिवार की भी जिम्मेदारी वही उठाया करता था। बताते हैं कि करंट से दुर्गा पांडाल में हिमांचल की मौत के बाद पूरे परिवार के सिर से पालनहार का साया उठ गया।
मां व बेटे की मौत, तीसरा गंभीर
यमदूत बनी विद्युत का कहर सिर्फ फाफामऊ तक ही सीमित नहीं रहा। सोरांव एरिया के उदयचंदपुर गांव निवासी चमेला देवी (60) के ऊपर पोल से मीटर तक आई केबिल टूट कर गिर पड़ी। करंट की चपेट में आकर मां को तड़पते देख बेटा ननकू (26) बचाने के लिए दौड़ पड़ा। बताते हैं कि वह पहुंचते ही मां को पकड़ कर खींचने की कोशिश करने लगा। जैसे ही वह मां को पकड़ा वे भी करंट की चपेट में आ गया। तब तक मां व भाई को को तड़पते देख लवलेश उन्हें बचाने के लिए बिजली के टूटे हुए वायर को हटाने के लिए हाथ से पकड़ लिया। जैसे ही केबिल को हाथ लगाया वह भी करंट की चपेट में आ गया। तब तक परिवार वालों की गुहार सुन पहले ग्रामीण सूखी हुई लकड़ी से किसी तरह तार को हटाए। तब तक ननकू व उसकी मां चमेला देवी दम तोड़ चुकी थी। गंभीर हालत में परिवार वाले लवलेश कुमार हॉस्पिटल में एडमिट करवाए। यहां देर रात तक उसकी हालत गंभीर बताई गई।