कई महीनों से है लिफ्ट में दिक्कत, स्वजन की गोद व बैसाखी से चढ़ते हैं सीढ़ी
प्रथम और द्वितीय तल पर चिकित्सक के पास पहुंचना होता है तकलीफदेह
एसआरएन की नई बिल्डिंग में लिफ्ट कई महीनों से खराब है। इसकी मेंटेनेंस न तो अधिकृत एजेंसी कर रही है, न ही अस्पताल के प्रशासनिक अधिकारी इस पर ध्यान दे रहे हैं। प्रथम व द्वितीय तल पर ओपीडी में जाने के लिए उन मरीजों को दिक्कत होती है जो स्वयं नहीं चल पाते। किसी को स्वजन गोद में उठाकर ओपीडी में ले जाते हैं, कोई दिव्यांगजन बैसाखी के सहारे ही ऊपर चढ़ते हैं।
महीनो से खराब पड़ी है लिफ्ट
एसआरएन के ट्रामा सेंटर के बगल में पुराना आकस्मिक विभाग का भवन है। लोग इसे अब भी नई बिल्डिंग के नाम से ही जानते हैं। इस भवन में सीढ़ी के ठीक बगल में लिफ्ट दिसंबर 2009 से संचालित है। 13 दिसंबर 2009 को इसका लोकार्पण हुआ था। यह लिफ्ट महीनों से खराब पड़ी है। लिफ्ट के दरवाजे जंग खा रहे हैं और आसपास गंदगी भी रहती है। भूतल पर ओपीडी के अलावा यहां प्रथम व दूसरे तल पर भी चिकित्सक बैठते हैं। वहां प्रत्येक दिन दर्जनों ऐसे मरीजों को भी जाना पड़ता है जो स्वयं चल नहीं पाते। उन्हें किसी के सहारे की जरूरत होती है। ऐसे लोग डाक्टर के पास बमुश्किल पहुंच पाते हैं। एसआरएन के प्रमुख चिकित्साधीक्षक डा। अजय सक्सेना ने कहा कि लिफ्ट का वार्षिक मेंटेनेंस अधिकृत एजेंसी की जिम्मेदारी है। दावा किया कि कुछ दिनों पहले लिफ्ट चल रही थी, वर्तमान में खराबी की जानकारी नहीं। कहा कि एजेंसी से इस खराबी को दिखवाएंगे।