प्रयागराज (ब्यूरो)। इस साल एक से सात जुलाई के बीच वन महोत्सव मनाया जाना है। हर साल इन सात दिनों में लाखों पौधे रोपे जाते हैं। पिछले कई सालों से यही क्रम चल रहा है। पांच साल में दो करोड़ पौधे रोपे गए हैं। हकीकत यह है कि यह नए पौधे संबंधित विभागों की पुरानी जमीनों पर लगाए जाते हैं। फिर भी इन जमीनों पर पर्याप्त जगह बची रहती है। यह अपने आप में एक बड़ा सवाल है। आखिर इतने पौधे लगाने के बाद भी शहर की हरियाली पर क्यों सवाल खड़े होते हैं। कहीं देखभाल के अभाव में हर साल लाखों पौधे खराब तो नही हो जाते। हालांकि इस साल भी लाखों पौधे लगाए जाने का लक्ष्य रखा गया है।
फिर से खोदे जाने लगे है गड्ढे
इस बार जिले में एक सप्ताह के भीतर 78.58 लाख पौध्ेा रोपे जाने हैं। इसमें अकेले वन विभाग 24.77 लाख पौधे लगाएगा। इसके अलावा बाकी विभागों को भी भारी भरकम पौधरोपण का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए उन्होंने गड््ढे भी खोदवाने शुरू करा दिए हैं। बता दें कि पिछले साल जिले में वन महोत्सव के दौरान 7584756 पौधे लगाने का लक्ष्य दिया गया था और इसमें से वन विभाग ने 2516646 पौधे अकेले लगाए थे।
पचता नही है ये नियम
जब इस मामले में वन विभाग से बात की गई तो उनका कहना था कि जिस स्थान पर एक बार पौधा लगा दिया गया तो वहां पर दस साल तक वहां पर दूसरा पौधा नही लगाया जाता है। इस जवाब के बाद विभागों की जमीनो के आकार को लेकर फिर से सवाल खड़े होने लगे। उन्होने बताया कि हर वर्ष पौधों के रोपण का नया लक्ष्य सरकार द्वारा निर्धारित किया जाता है। जिसे वन विभाग समेत पूरे जनपद के अन्य विभागों द्वारा पूरा किया जाता है।
फिर तो हरियाली से हरा हो जाता प्रयागराज
अधिकारियों का यह भी कहना था कि हर साल लगाए जाने वाले पौधाों में 80 पनप जाते हैं। अगर ऐसा है तो पूरे शहर में हरियाली की कमी नही होनी चाहिए। फिर भी जर तरफ हरियाली की कमी है और इसकी वजह से इस बार जबरदस्त गर्मी और उमस से लोग परेशान हुए हैं। बताया गया कि वन विभाग द्वारा पौधों का रोपण दो तरह से किया जाता है। एक तो ट्रेंच विधि के द्वारा तो दूसरा गढ्डा खोद कर। वन विभाग द्वारा अब तक 947299 गढ्डों कि खोदाई की जा चुकी है। वहीं ट्रेंच विधि के द्वारा पौध रोपण ाकरने के लिए 433068 टे्रंचेस का निर्माण किया जा चुका है। ट्रेंच विधि के द्वारा इस वर्ष 1299304 पौधों का रोपण किया जाएगा। लोगों को जागरूक करने के लिए इस बार पौध रोपण की थीम वृक्षारोपण जन आंदोलन रखी गई है। ताकि अधिक से अधिक लोगों को पौधों के रोपण के लिए जागरूक किया जा सके।
पिछली बार की तरह इस बार भी वन विभाग के द्वारा लक्ष्य से ज्यादा पौधों का रोपण किया जाएगा। पिछले पांच वर्षों में लगभग दो करोड़ पौधों का रोपण किया जा चुका है।
अरविंद कुमार यादव
डीएफओ