डीएम के फर्जी हस्ताक्षर से गन लाइसेंस बनाने का मामला, एमपीएमएलए कोर्ट में हुई सुनवाई
शस्त्र लिपिक गौरीशंकर के खिलाफ एनबीडब्लू जारी, 30 जुलाई को होगी अगली सुनवाई
PRAYAGRAJ: फर्जी शस्त्र लाइसेंस बनवाने के मामले में मुख्तार अंसारी पर शुक्रवार को एमपीएमएलए कोर्ट द्वारा आरोप सृजित किया गया। बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी की सुनवाई वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए की गई। मामले के आरोपित शस्त्र लिपिक गौरीशंकर के खिलाफ एमपीएमएलए कोर्ट के न्यायाधीश आलोक कुमार श्रीवास्तव द्वारा एनबीडब्लू जारी किया गया। कोर्ट ने प्रकरण में सुनवाई के लिए अगली तारीख 30 जुलाई मुकर्रर किया है।
गाजीपुर जिले का है पूरा प्रकरण
प्रकरण गाजीपुर जिले के मोहम्मदाबाद थाने से सम्बंधित है। वर्ष 1990 में यहां माफिया मुख्तार अंसारी सहित शस्त्र लिपिक गौरी शंकर सहित कई लोगों के खिलाफ केस दर्ज हुआ था। इन पर 420, 467, 468 धाराएं चार्ज की गई थीं। बताया गया कि मामले मे मुख्तार अंसारी पर फर्जी गन लाइंस बनवाने का आरोप है। शस्त्र लिपिक गौरीशंकर की मिली भगत से बनाए गए शस्त्र लाइसेंस पर डीएम के फर्जी हस्ताक्षर बनाए गए। यहां तक की मुहर भी लगा दी गई। फ्राड का यह राज बेनकाब हुआ तो केस में जांच शुरू हो गई। मुख्तार अंसारी के जारी दो नाली बंदूक के लाइसेंस पर डीएम के हस्ताक्षर फर्जी पाए गए। इस पर मोहम्मदाबाद थाने में मुख्तार व शस्त्र लिपिक सहित अन्य पर केस दर्ज किया गया। इसी मामले में शुक्रवार को यहां एमपीएमएलए कोर्ट के न्यायाधीश द्वारा सुनवाई की गई। बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी की सुनवाई के दौरान वीडीओ कांफ्रेंसिंग करवाई गई। सहायक शासकीय अधिवक्ता फौजदारी द्वारा केस से जुड़े सारे साक्ष्य व सुबूत कोर्ट के सामने प्रस्तुत किए गए। उपलब्ध साक्ष्यों के आधार पर कोर्ट ने मुख्तार अंसारी पर आरोप सृजित किया। साथ ही शस्त्र लिपिक के खिलाफ न्यायाधीश द्वारा एनबीडब्लू जारी किया गया। प्रकरण में सुनवाई के लिए कोर्ट ने तीस जुलाई की डेट मुकर्रर किया है।
फर्जी गन लाइसेंस बनवाने के मामले में मुख्तार अंसारी पर कोर्ट द्वारा आरोप सृजित किया गया। शस्त्र लिपिक गौरीशंकर के विरुद्ध एनबीडब्लू कोर्ट ने जारी किया है। केस में अगली सुनवाई तीस जुलाई को होगी।
राजेश कुमार गुप्ता, सहायक शासकीय अधिवक्ता फौजदारी