प्रयागराज ब्यूरो, मृतक का नाम जहीर अली उर्फ गप्पू (32) था। घायल का नाम मुन्ना (25) है। उसे एसआरएन में भर्ती कराया गया है। डॉक्टर्स के मुताबिक उसके पैर से लेकर हाथ तक की हड्डियां टूट गईं हैं। करेली थाना क्षेत्र के अकबरपुर निवासी नियाज अली का बेटा जहीर अली उर्फ गप्पू व मोहल्ले के ही मुन्ना पुत्र मुस्ताक अहमद के बीच गहरी दोस्ती थी। दोनों रात में अपने घर पहुंच चुके थे। रात में अचानक जाने क्या सूझा कि दोनो घर से निकल पड़े। संयोग था कि दोनो की मुलाकात हो गयी और दोनो बातें करते करते खुल्दाबाद एरिया के बेनीगंज बाबा मार्केट तक पहुंच गये। उस वक्त सन्नाटे का आलम था। दोनों की नजर एक घर पर टिक गयी और वे बिना कुछ सोचे समझे काफी देर तक मकान को देखते रहने की गलती कर बैठे। आशंका जतायी जा रही है कि यह देखकर लोगों को शक हो गया कि दोनो चोरी की नीयत से घर की रेकी कर रहे हैं। इसके बाद कुछ लोग जुटे और लाठी-डंडा व सरिया लेकर दोनों पर हमला बोल दिया। दोनों अपनी बात रखने का प्रयास करते रहे लेकिन किसी ने उन्हें नहीं सुना बस पिटायी करते रहे। इस कदर पीटा गया कि दोनों के हाथ, पांव के साथ शरीर के अन्य स्थानों की हड्डियां कई जगह से टूट गईं। दोनों खून से लथपथ हो कर जमीन पर गिर पड़े। गंभीर चोट आने के कारण गप्पू की मौके पर ही मौत हो गई। खून से लथपथ उसका साथी मुन्ना जमीन पर गिरकर तड़पता रहा। कुछ लोगों द्वारा घटना की खबर खुल्दाबाद पुलिस को दी गई।
पीएम हाउस पहुंचकर की पहचान
पीट-पीटकर हत्या की खबर सुनते ही थाना पुलिस के साथ सीओ शाहगंज व एसपी सिटी मौके पर पहुंचे। अधिकारियों ने देखा तो गप्पू दम तोड़ चुका था। उसकी बॉडी को पोस्टमार्टम हाउस भेज दिया गया था। तब उसकी पहचान भी नहीं हो पायी थी। मुन्ना को एसआरएन हॉस्पिटल भेजवा दिया गया। यहां पूछताछ में जिंदगी और मौत से जूझ रहे मुन्ना ने दोस्त गप्पू व अपनी पहचान पुलिस बताई। पूरी घटना के बारे में पुलिस को बताया। इसके बाद पुलिस द्वारा घटना की खबर दोनों के घर वालों को दी गई। जानकारी होते ही दोनों के परिजन रोते बिलखते एसआरएन हॉस्पिटल पहुंचे। देर रात तक हॉस्पिटल में मुन्ना की हालत गंभीर बनी हुई थी। पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे परिजनों ने गप्पू की बॉडी देखी तो सन्नाटे में आ गये। पोस्टमार्टम के बाद परिजन गप्पू की बॉडी रोड पर रखकर गुड्ढा ताजिया चौराहे पर जाम लगा दिए। परिजनों का कहना था कि गप्पू की हत्या साजिश के तहत की गई है। कातिलों को गिरफ्तार किया जाय। शाम को गप्पू की पत्नी शाइना के द्वारा पुलिस को अज्ञात हमलावरों के खिलाफ तहरीर दी गई। उसकी तहरीर पर पुलिस मुकदमा दर्जकर केस की जांच में देर शाम तक जुटी रही।
गप्पू की हत्या से परिवार में कोहराम
बेरहमी से मौत के घाट उतारा गया गप्पू तीन भाइयों में बड़ा था। उसके पिता नियाज अली के मुताबिक घटना वाली रात सोमवार को वह फाफामऊ में ईट भट्ठे पर काम पर था। घर पर उसके तीनों बेटे व उनका परिवार और पत्नी मौजूद थी। गप्पू मलबा की ढुलाई का काम किया करता था। मोहल्ले के ही मुन्ना पुत्र मुस्ताक अहमद से गहरी दोस्ती थी। गप्पू रात में उठा और बाइक व मोबाइल लेकर निकल गया। घर बताया था कि उसे रात में कहीं पर टूटे हुए मकान का मलबा उठवाकर दूसरी जगह गिराना है। इसके बाद वह रात भर लौटकर घर नहीं पहुंचा। भोर में पुलिस घर पहुंची तो उसके मौत की खबर घर वालों को मालूम चली। गप्पू की पत्नी शाइना की मानें तो वह रात साढ़े दस बजे निकला था। उसका एक चार साल का बेटा व दो साल की बेटी है। उसकी मौत से पूरे परिवार में कोहराम मचा रहा।