प्रयागराज (ब्‍यूरो)। नाली और नालों की बदतर सफाई से बेखबर महापौर के द्वारा शहर में जलप्लावन से बचाव को लेकर बुधवार को बैठक की गई। इस बैठक में मौजूद अफसरों को उनके जरिए एक-दो नहीं, पूरे 14 निर्देश दिए गए। इन निर्देशों में दवा छिड़काव से लेकर मशीन व बाढ़ से जुड़े पम्पों को जलप्लावन पूर्व चेक करने जैसे तमाम बिन्दु शामिल हैं।

दवा से दरवाजे तक पर जताई चिंता
नगर निगम के महापौर उमेश चंद्र गणेश केसरवानी ने कहा बारिश में जल प्लावन जैसी स्थिति उत्पन्न नहीं होनी चाहिए। ऐसे हालात पैदा हों इसके पूर्व गाडिय़ों और वाटर पम्पों की व्यवस्था जोनवार डी संट्रलाइज्ड का काम पूरा किया जाय। नगर निगम सीमा में आने वाली सड़कों का निरीक्षण करके उन्हें गड्ढा मुक्त कराएं। वार्डों के मोहल्लों में टूटी नालियों व पुलिया को भी ठीक कराया जाय। जिन इलाकों में वर्षा से जलप्लावन की स्थिति उत्पन्न होती है, उन सभी जोनों में वाटर पम्प की व्यवस्था सुनिश्चित की जाय। कहा कि मुख्य मार्गों के अतिरिक्त लिंक गलियों में स्थित नालियों की शिल्ट निकालकर उसका निस्तारण किया जाय। साथ ही जिन नालों की सफाई का कार्य चल रहा है उसे अविलंब पूर्ण किया जाय। अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि नाला पूरी तरह से साफ किया गया है या नहीं। नालों की सिल्ट प्रत्येक दशा में 48 घंटे के अंदर उस स्थान से हट जाना चाहिए। जलकल विभाग सभी सीवर की सफाई का कार्य कराए। इस काम में लापरवाही नहीं होनी चाहिए। सीवर के ढक्कन टूटे हों तो उसे तत्काल दुरुस्त कराया जाय। महापौर ने माना कि वर्तमान में मार्ग प्रकाश की व्यवस्था काफी दयनीय है। इस लिए मार्ग प्रकाश की व्यवस्था सुनिश्चित की जाय। लोगों के द्वारा कई जगह भवन का मलबा रोड पर फेक दिया गया है। इस मलबे को भी तत्काल रोड से हटाया जाय। साथ ही निरीक्षण करके रोड पर मलबा फेकने वालों पर कार्रवाई की जाय। सभी बाढ़ पम्पिंग स्टेशनों के पम्पों को समय रहते ठीक करा लिया जाय। नाला और नालियों पर अतिक्रमण से सम्बंधित शिकायतों को निस्तारित जांच करके तत्काल किया जाय। इतना ही नहीं, यह भी कहा कि बारिश में बीमारी फैलने की आशंका रहती है। ऐसे में कीटनाशक दवाओं का इंतजाम पर्याप्त किया जाय। खुले नाले जहां पर दुर्घटना होने की संभावना है, बैरीकेटिंग करा दिया जाय। नाला सफाई करने वाले मजदूरों के सुरक्षा उपकरण सम्बंधित फर्म व विभाग द्वारा उपलब्ध कराया जाय। बिना सुरक्षा उपकरण के सफाई कर्मचारियों से काम नहीं कराया जाय।