एनजीओ खोलकर अतिरिक्त शिक्षा के नाम पर बच्चों के अभिभावकों से वसूले लाखों
गैर सरकारी संस्था (एनजीओ) खोलकर अतिरिक्त शिक्षा के नाम पर बच्चों व उनके अभिभावकों से जालसाजी कर लाखों रुपये वसूलने वाले शातिर को शुक्रवार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। झलवा मार्ग स्थित रेलवे डॉट पुल के पास से उसे पकड़ा गया। वह करीब पांच वर्ष से फरार था और उस पर एसएसपी ने 25 हजार का इनाम घोषित कर रखा था। उससे पूछताछ की गई तो कई और बातें सामने आई हैं, जिसकी पुलिस जांच कर रही है।
2016 में दर्ज कराया गया था मुकदमा
वर्ष 2016 में मप्र के जबलपुर के एलआइजी धनवंतरी नगर की रहने वाली पूनम सौधिया झाला पत्नी मोहन झाला ने धूमनगंज थाने में बल्लभ पांडेय निवासी गढ़वारा थाना अंतू जनपद प्रतापगढ़, हालपता तिलक नगर अल्लापुर के खिलाफ धोखाधड़ी समेत कई धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया था। पूनम ने पुलिस को बताया था कि बल्लभ ने परम पारस ग्राम विकास कृषि शिक्षा बेरोजगार कल्याण फाउंडेशन को संचालित करता था। प्रयागराज में वह खुद संस्था का सचिव था, जबकि उसे जबलपुर का दायित्व वर्ष 2015 में सौंपा था। बच्चों को अतिरिक्त शिक्षा प्रदान करने के लिए विद्यालयों में जाकर प्रति बच्चे या उनके अभिभावकों से 52 रुपये लेने की बात कही गई थी। उसने हजारों विद्यालयों में जाकर यह कार्य किया और लाखों रुपये संस्था में जमा करवाए। इसके बाद बल्लभ पांडेय ने मप्र के अन्य जिलों में भी कार्यालय खोलकर ऐसा ही करने को कहा। उसने ऐसा ही किया, लेकिन जब शिक्षकों का वेतन और केंद्र का किराया देने की बात आई तो वह टरकाता रहा। लाखों रुपये हड़पने के बाद वर्ष 2016 में उसने अपना मोबाइल नंबर बंद कर दिया और गायब हो गया।
सभी प्रदेशों को दी गई जानकारी
बल्लभ की गिरफ्तारी के बाद धूमनगंज इंस्पेक्टर ने छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, मप्र आदि प्रदेशों की पुलिस को इसकी जानकारी दे दी है। इंस्पेक्टर का कहना है कि अब वहां की पुलिस यहां आएगी और बल्लभ को रिमांड पर लेगी।
पांच गनर को लेकर चलता था साथ
धूमनगंज इंस्पेक्टर ने बताया कि बल्लभ पांडेय इंटर पास है। वह लग्जरी वाहन से चलता था। उसने अपनी सुरक्षा के लिए पांच प्राइवेट गनर भी रखे थे, जो हमेशा उसके साथ चलते थे। गिरफ्तारी से बचने के लिए वह हमेशा अपना ठिकाना बदलता था।
बल्लभ पांडेय की तलाश मुकदमा दर्ज होने के बाद से ही की जा रही थी। लेकिन, वह हाथ नहीं लग रहा था। शुक्रवार को उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
तारकेश्वर राय
इंस्पेक्टर धूमनगंज