प्रयागराज ब्यूरो । आपके घर में चूहे हैं तो उनसे होशियार हो जाइए। क्योंकि यह आपको गंभीर रूप से बीमार भी कर सकते हैं। ऐसा हम नही कह रहे बल्कि एमएलएन मेडिकल कॉलेज की लैब में हुई जांच बता रही है। माइक्रोबायलाजी लैब में हुई जांच में चूहे से फैलने वाली बीमारी स्क्रब टाइफस के 26 मरीज सामने आए हैं। फिलहाल इनका इलाज चल रहा है। बाकी लोगों को इस बीमारी बचने के लिए जागरुक किया जा रहा है।
इस साल शुरू हुई है जांच
स्क्रब टाइफस रोग की जांच की सुविधा इसी साल से मेडिकल कॉलेज की लैब में शुरू की गई है। इसके बाद एक एक करके 26 मरीज अभी तक मिल चुके हैं और भविष्य में इनकी संख्या बढऩे की पूरी संभावना है। फिलहाल यह मामले स्क्रब टाइफस के नए मामले नैनी के अलावा शहर के मालवीय नगर, सलोरी, मुट्टीगंज, कालिंदीपुरम, जीटीबी नगर, दारागंज, कंपनीबाग व सादियापुर में पाए गए हैं।
कैसे फैलता है ये बुखार
लास्ट ईयर भी स्क्रब टाइफस के गिने चुने मरीज सामने आए थे लेकिन पहली बार 26 मरीज मिले हैं जो चिंता का विषय है। इस बीमारी में पहले सप्ताह में बुखार बढ़ जाता है। इस दौरान रोगी का सिरदर्द करता है। वहीं बुखार के पांचवे से आठवें दिन धड़ पर एक धब्बेदार दाने विकसित होते हैं, जो अक्सर हाथों और पैरों तक फैल जाते हैं। यह तेजी से गायब हो सकता है या मैकुलोपापुलर और गहरे रंग का हो सकता है।
सीएमओ ने उपलब्ध कराई जांच किट
अभी तक इस बीमारी के मरीज जिले में पकड़ में नहीं आ रहे थे। मगर हाल ही में चूहे के मलमूत्र से पैदा होने वाली लेप्टोस्पायरोसिस बीमारी के मामले सामने आए। सिर्फ सोरांव के रंगपुरा में चार लोगों में लेप्टोस्पायरोसिस की बीमारी पाई गई। इसके बाद स्वास्थ्य विभाग के कान खड़े हुए और सीएमओ की तरफ से एमएलएन मेडिकल कॉलेज को लेप्टोस्पायरोसिस और स्क्रब टाइफस की जांच की किट उपलब्ध कराई गई। जिसके बाद से 26 नए मामले स्क्रब टाइफस के सामने आए हैं।
- शुरुआती लक्षणों में चकत्ते, बुखार, सिरदर्द, और शरीर में दर्द शामिल हैं।
5-अपने कपड़ों, सहायक वस्तुओं और अन्य पहनने योग्य वस्तुओं की नियमित रूप से जांच करें।
1- अपने हाथों और पैरों को अच्छे से ढक कर रखें।
2- संक्रमित होने पर तुरंत डॉक्टर से परामर्श लें।
3- स्क्रब टाइफस से बचने के लिए घर के आसपास घास या झाडिय़ां ना बढऩे दें।
4- घर पर चूहे हैं तो उनसे छुटकारा पाने के उपाय करें।अभी तक डेंगू की जांच हो रही थी और अब चिकन गुनिया के साथ स्क्रब टाइफस की जांच कराई जा रही है। यह बेहद जरूरी है। जितने मरीज सामने आए हैं उनका इलाज कराया जा रहा है और नए संक्रमणों को रोका जा रहा है।
आनंद सिंह, जिला मलेरिया अधिकारी प्रयागराज