गुरु महंत नरेन्द्र गिरी के सामने आनंद गिरी ने मांगी माफी

मठ बाघम्बरी गद्दी में जाने और पूजन की मिली इजाजत

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PRAYAGRAJ: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि और उनके शिष्य आनंद गिरि के बीच चल रहा विवाद आखिरकार खत्म हो गया। बुधवार को आनंद गिरी ने अपने गुरु के पैर छूने के बाद कान पकड़कर अपने द्वारा लगाए गए आरोपों को लेकर माफी मांगी। जिसके बाद अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरी ने अपने शिष्य को उनकी गलतियों के लिए माफ कर दिया। साथ ही आनंद गिरी को श्रीमठ बाघम्बरी गद्दी में प्रवेश की अनुमति भी दे दी गई। इसके बाद श्रीनिरंजनी अखाड़ा के पंच परमेश्वर से बात करके महंत नरेन्द्र गिरी अपने शिष्य आनंद गिरी का अखाड़े में वापसी के लिए प्रयास करेंगे।

फैमली से संपर्क व गुरु के खिलाफ साजिश का था आरोप

महंत नरेद्र गिरी के सबसे करीबी शिष्य रहे स्वामी आनंद गिरी पर अखाड़ा परिषद अध्यक्ष की ओर से गंभीर आरोप लगाए गए थे।

- जिसमें आनंद गिरी द्वारा अपने परिवार से संपर्क रखने के साथ ही गुरु के खिलाफ साजिश का आरोप था। - इन्हीं आरोपों को देखते हुए उन्हें निरंजनी अखाड़ा से 14 मई को निष्कासित कर दिया गया था।

- अखाड़ा और मठ से निष्कासित होने के बाद आनंद गिरी ने भी अपने गुरु पर ही जमीन बेचने जैसे कई गंभीर आरोप लगाना शुरू कर दिया।

- इसके बाद आनंद गिरी 21 मई को हरिद्वार पहुंचे। जहां उन्होंने श्रीनिरंजनी अखाड़ा के सचिव व मुख्य कर्ताधर्ता श्रीमहंत रवींद्र पुरी से मुलाकात करके खुद पर लगे आरोपों को लेकर अपनी सफाई दी। जिस पर उन्हें कुछ समय के लिए शांत रहने की सलाह दी गई।

इसी बीच बुधवार को नरेंद्र गिरि के एक शिष्य के घर आनंद गिरी और उनके गुरु महंत नरेन्द्र गिरी की मुलाकात हुई। जहां पर आनंद गिरी द्वारा अपने गुरु का पैर छू कर माफी मांगते हुए वीडियो वायरल हो गई। आनंद गिरी ने अपना संदेश भी जारी किया।

- गुरु महंत नरेन्द्र गिरी के समक्ष कान पकड़कर अपनी गलतियों के लिए माफी मांगी है। पिछले दिनों जो भी विवाद हुआ। उसके लिए माफी मांगता हुं। अपनी ओर से दिए गए समस्त अनुचित बयानों को वापस लेता हूं। मेरे से हमेशा ही मेरे गुरु का दर्जा भगवान के बराबर रहा है। गुरु के बिना मेरा कोई अस्तित्व नहीं है।

स्वामी आनंद गिरि

- मेरे शिष्य आनंद गिरि मेरे पास आए। मुझसे मिलकर अपनी गलती के लिए क्षमा मांगी। साथ ही अपने सभी वक्तव्य को उन्होंने वापस ले लिया है। अपने शिष्य को मैने माफ कर दिया है। श्रीनिरंजनी अखाड़े के पंच परमेश्वर से भी माफी मांगी है, इससे मैं खुश हूं।

महंत नरेंद्र गिरि

अध्यक्ष, अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद