एचआई पर रहने वालों को नहीं मिल रही दवा
सोशल मीडिया पर दर्ज करा रहे हैं शिकायत
होम आइसोलेशन यानी एचआई पर रहने वाले मरीजों को समय पर दवाएं नहीं मिल पा रही हैं। कई मरीजों ने इसकी शिकायत सोशल मीडिया पर दर्ज कराई है। उनका कहना है कि समय पर दवाएं नहीं मिलने से उनका स्वास्थ खराब हो सकता है। ऐसे में यह लोग आसपास के लोगों से सहायता मांग रहे हैं। नियमानुसार उनको दवा पहुंचाने की जिम्मेदारी आरआरटी टीमों को दी गई है। लेकिन संक्रमितों की संख्या अधिक होने से टीमें दवा पहुचाने में नाकाम साबित हो रही हैं।
तीन दिन में भी नहीं पहुंच रही दवाएं
नियम कहते हैं कि पॉजिटिव आने के बाद मरीज का आक्सीजन लेवल ठीक है तो उसे घर पर रहना होगा। उसे दवाएं आरआरटी यानी रैपिड रिस्पांस टीम की ओर से पहुंचाया जाएगा। मरीज और उसके परिजनों का अगले 14 दिन तक घर से निकलने की इजाजत नहीं दी जाएगी। लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है। एचआई पर रहने वाले मरीजों को कंट्रोल रूम से फोन तो पहुंच रहा है लेकिन दवाएं आने में तीन से चार दिन लग जा रहा है। इसकी वजह से मरीजों को दिक्कत हो रही है। कई मरीज ऐसे हैं जिनके घर पर कोई नहीं है और वह भी घर से बाहर नहीं निकल सकते। उनको दवाएं नहीं मिलने से उनको अधिक परेशानी हो सकती है।
बन रहा है कंटेनमेंट जोन
कुछ दिन पहले तक शिकायत आ रही थी कि एचआई पर रहने वाले मरीज घर से बाहर निकल रहे हैं। इस पर रोक लगाने के लिए प्रशासन ने कंटनेमेंट जोन बनाना शुरू कर दिया है। ऐसे में घरों के बाहर बास बल्ली लगाकर लोगों को बाहर निकलने से रोका जा रहा है। यही कारण है कि लोगों को कंट्रोल रूम से फोन आने के बाद दवा के इंतजार में लंबा समय बिताना पड़ रहा है। यह भी बता दें कि समय पर दवाएं नही पहुंचने से मरीज की हालत खराब हो सकती है। जिससे वह अस्पताल मे भर्ती हो सकता है।
आरआरटी टीमों की संख्या बढ़ाए जाने की कोशिश चल रही है। सभी के समय पर दवा पहुंच रही है। अगर कोई केस रह जा रहा है तो उसको भी मानीटर किया जा रहा है। प्रत्येक मरीज हमारे लिए जरूरी है।
डॉ। ऋषि सहाय
नोडल कोरोना प्रयागराज