प्रयागराज (ब्यूरो)।इतना ही नहीं मवेशियों के गोबर को किसी भी सूरत में नालियों के अंदर पानी की मदद से नहीं बहाया जाय। इससे नालियां व नाले चोक हो जाते हैं। जिसके चलते जल निकासी की समस्या खासकर बारिश के दिनों में उत्पन्न हो जाती है। जागरूकता अभियान में पशु पालकों को खबरदार करने के लिए लगाई गई टीम कार्रवाई के व नियमों के बारे भी उन्हें अवगत करा रही है। बताया जा रहा कि यदि इतना कुछ बताने व समझाने के बावजूद अब भी लोग मवेशियों को रोड पर छोड़ा गया तो प्रति मवेशी के हिसाब से जितना जुर्माना लगाया जाएगा। पालकों को रकम नगर निगम में जमा करना होगा।

नहीं मानें बात तो कार्रवाई सहने को रहिए तैयार
पशु पालकों को जागरूक करने में जुटी नगर निगम की टीम के द्वारा उन्हें पशुओं को रोड पर छुट्टा नहीं छोडऩे व गोबर नालियों में न बहाने से होने वाले फायदों के बारे में भी जानकारी दी जा रही है।
टीम के लोग उन्हें बता रहे कि गोबर नाली में बहाने से सबसे पहले नाली जाम हो जाती है, इससे जमा होने वाले गंदे पानी में मच्छरों का जन्म होता है जो पूरे शहर की स्वच्छता व सेहत के लिए उचित नहीं है
दूसरे यह कि गोबर को नाली में बहाने के लिए दर्जनों लीटर पानी का पशु पालक इस्तेमाल और बर्बाद करते हैं, जो कि स्वच्छ पानी को बर्बाद करना शासन व सरकार की मंशा के विपरीत किया गया कार्य है
ऐसी स्थिति में मवेशी पालकों को सिर्फ पशुओं को छुडऩे ही नहीं, गंदगी फैलाने व नाली जाम करने के साथ ही साथ स्वच्छ पानी को बर्बाद करने एवं दुरुपयोग करने के मामले में भी कार्रवाई की जा सकती है।

शहर में रोड पर ही नहीं गली में भी छुट़्टा मवेशियों पर जुर्माना लगाने व वसूलने का प्राविधान है। कार्रवाई व अभियान से पूर्व मवेशी पालकों को व तबेला संचालकों को जागरूक किया जा रहा है। इसके बाद भी उनकी आदत में सुधार नहीं होने पर की जाने वाली कार्रवाई के जिम्मेदार वे खुद होंगे।
डॉ। विजय शंकर राय
पशुधन अधिकारी नगर निगम