सिटी के टॉप मोस्ट प्रतिष्ठानों में एक सप्ताह से लगा है ताला
ALLAHABAD: पीएम नरेन्द्र मोदी के ट्रंप कार्ड से हिन्दुस्तान का बाजार चारों खाने चित है। इलाहाबाद में भी इसका भरपूर असर देखने को मिल रहा है। ऐसे समय जब जनता बैंकों के बाहर लाइन लगाकर नोट गिनने में मशगूल है। तब शहर के बड़े व्यापारियों का हाल बेहाल नजर आ रहा है। इसका लाइव सीन आई नेक्स्ट ने पीएम मोदी के नोटबंदी के आदेश के सात दिन बाद कैमरे में कैद किया तो दिलचस्प नजारा सामने आया।
दुकानें जो खुली ही नहीं
सिटी के पॉश इलाके सिविल लाइंस में अमूमन दुकानें यदा कदा ही बंद होती हैं। लेकिन पिछले सात दिनों से यहां कई ऐसी दुकाने हैं जो खुली ही नहीं हैं। इनमें ज्वैलरी शॉप, कपड़ा, बड़े मेडिकल स्टोर, मोबाइल शॉप आदि शामिल हैं। सिटी के पॉश इलाके का जो हाल नजर आ रहा है, ठीक वैसा ही हाल पुराने शहर का भी है। वहां भी नोटबंदी की जबरदस्त मार देखने को मिली है। कई ऐसी शॉप हैं, जिनका शहर भर में नाम हैं। इन दुकानों पर पहुंच रहे कस्टमर वापस लौट रहे हैं।
रेड के डर से हैं भयभीत
आसपास के लोगों से इसकी वजह जानने की कोशिश की गई तो उन्होंने कहा कि दुकानों के न खुलने की अहम वजह बड़े नोटों का चलन से बाहर हो जाना है। इससे व्यापारी माल नहीं खरीद पा रहे हैं। चूंकि, बैंक से लिमिटेड कैश ही निकाला जा सकता है। इस वजह से भी दिक्कत है। ज्वैलरी शॉप वाले तो खासे खौफजदा नजर आ रहे हैं। उनमें इस बात को लेकर डर देखा जा रहा है कि कहीं सरकारी महकमे की ओर से कोई कार्रवाई न कर दी जाये। क्योंकि, ज्वैलरी शॉप में ब्लैक मनी खपाए जाने की सूचना लगातार आ रही है।
पीवीआर खाली, बिग बाजार सूना
सबसे आश्चर्यजनक नजारा तो सिविल लाइंस स्थित माल्स का है। जिस दिन पीएम ने नोटबंदी की घोषणा की थी। उसी दिन से माल में सन्नाटा नजर आ रहा था। माना जा रहा था कि कुछ दिन बीतने के बाद माहौल बदलेगा। लेकिन ऐसा हुआ नहीं, पूरे सात दिन बाद भी पीवीआर और बिग बाजार जैसी जगहों पर बहुत कम संख्या में लोग नजर आ रहे हैं। अभी तक दोपहर के समय इन बड़े मॉल्स के बाहर भीड़ से जाम की समस्या बनी रहती थी। लेकिन करेंट में ऐसा कुछ नहीं है।