प्रयागराज ब्यूरो । इसमें से 3027 वोट संशोधन के पक्ष में तो 625 वोट विरोध में पड़े। इनमें से 29 मत अवैध, 4 खाली और 23 स्पष्ट मिले हैं। अध्यक्ष व महासचिव के वोट की गणना नहीं की गई। जनमत संग्रह समिति सदस्य महेंद्र बहादुर सिंह, अध्यक्ष वशिष्ठ तिवारी, सदस्य सोम नारायण मिश्र, रचना दूबे व यतींद्र की निगरानी में पुस्तकालय हाल में शांतिपूर्ण मतदान के लिए कार्यकारिणी सहित अध्यक्ष आरके ओझा व महासचिव एसडी सिंह जादौन ने बार सदस्यों का आभार जताया है। इससे पहले पूर्व पदाधिकारियों की प्रारूप समिति की बैठकों में संशोधन प्रस्ताव पर विचार किया गया।
प्रारूप समिति की रिपोर्ट पर आम सभा में विचार किया गया और नियमानुसार गुप्त मतदान कराया गया।
अपरान्ह बाद सौंपी गई रिपोर्ट
इसके लिए जनमत संग्रह समिति का गठन किया गया। जिसकी निगरानी में अधिवक्ताओं की टीम ने सुरक्षा व्यवस्था के बीच शांतिपूर्ण मतदान संपन्न कराया।
30नवंबर को मतपत्रों की छंटनी के बाद एक दिसंबर को साढ़े दस बजे से मतगणना शुरू की गई। जनमत संग्रह समिति ने अपरान्ह बाद परिणाम की रिपोर्ट बार कार्यकारिणी को सौंप दी।अधिवक्ता कल्याण के लिए जरूरी बताया
कार्यकारिणी की बैठक में संशोधन को प्रभावी घोषित किया गया। बैठक की अध्यक्षता आर के ओझा अध्यक्ष, व संचालन महासचिव सत्यधीर सिंह जादौन ने किया। अध्यक्ष ने संशोधन को अधिवक्ता कल्याण के लिए जरूरी बताया। महासचिव ने इसे ऐतिहासिक निर्णय करार दिया। बार एसोसिएशन के इतिहास में पहली बार बाई लाज संशोधन के लिए मतदान कराया गया है। महासचिव ने बताया कि कोविड काल के कारण इस वर्ष चुनाव में केवल 2022 के मुकद्दमो का व्योरा देना होगा। संयुक्त सचिव प्रेस आशुतोष त्रिपाठी ने कहा कि अधिवक्ता भविष्य निधि योजना के लिए 65 सौ सदस्यों ने अपने पीपीएफ, बचत खाते का विवरण जमा किया है। बैठक में वरिष्ठ उपाध्यक्ष मनोज मिश्र, उपाध्यक्ष गण नीरज त्रिपाठी, सुरेंद्र नाथ मिश्र, सत्यम पांडेय, श्यामाचरण त्रिपाठी, संयुक्त सचिव आशुतोष त्रिपाठी, कोषाध्यक्ष अरुण कुमार सिंह, अन्नपूर्णा सिंह चंदेल, अनुज सिंह, जितेन्द्र सिंह, अनुराग शुक्ल, अभिषेक तिवारी आदि मौजूद थे।