प्रयागराज (ब्‍यूरो)। नैनी यमुना नदी पर आज से 17 वर्ष पूर्व बनाए गए नए ब्रिज की कंडीशन ठीक नहीं है। ब्रिज के बैरिंग रिपेयरिंग से लेकर बिम स्टैचनिंग व इंक्सपेंशन की जरूरत है। करीब 1.6 किलो मीटर लंबे इस ब्रिज का निर्माण 2004 में विदेशी कंपनी द्वारा पूरा किया गया था। तब से आज यह ब्रिज शहर को मध्य प्रदेश से लेकर अन्य जनपदों व जिले के इलाकों में होने वाले ट्रैफिक संचालन का भार उठा रहा है। ब्रिज में आई खराबी को दुरुस्त करने की कवायद पिछले कई महीने से चल रही थी। एनएचआई के जिम्मेदारों द्वारा की गई लिखा पढ़ी को सरकार द्वारा संज्ञान लिया गया। ब्रिज के मेंटिनेंस के लिए 15 करोड़ रुपये का बजट पास हुआ। बजट स्वीकृत होने के बाद मेंटिनेंस का कार्य फ्रांस की प्रेसीनेंट नामक कंपनी को सौंपा गया। काम की निगरानी की जिम्मेदारी अन्य कंपनियों को सौंपी गई। विभागीय दावा है कि कंपनियों ने ब्रिज के मेंटिनेंस का कार्य शुरू कर दिया है। जबकि जमीन से जुड़ी हकीकत यह है कि मेंटिनेंस के नाम पर नैनी साइड छोड़ी दूर सड़क की खुदाई करके छोड़ दिया गया है। तब से आज तक इस ब्रिज पर मेंटिनेंस का कार्य होते हुए दिखाई नहीं दिया। मेंटिनेंस के नाम पर नैनी साइड खोदी गई रोड की वजह से हर रोज जाम लग रहा है।
स्कूल व आफिस के समय लगता है जाम
सबसे ज्यादा जाम ऑफिस और स्कूल टाइम सुबह और शाम के समय ऑफिस व स्कूल बंद होने के वक्त लगता है। इस जाम में फंसे लोगों का कुछ मिनट नहीं एक से डेढ़ घंटा वक्त फिजूल चला जाता है। इससे भी बदतर स्थिति रात में उस वक्त होती है जब ट्रकों की लंबी कतार और जाम में लोग फंस जाते हैं। हर रोज इस समस्या से जूझ रहे लोगों की परेशानी पर प्रशासन ध्यान नहीं दे रहा है। इन्हीं उपेक्षाओं के चलते पब्लिक को ब्रिज से जान जोखिम में डालकर सफर करना पड़ रहा है।

अब नए ब्रिज के मेंटिनेंस में ट्रैफिक का रोड़ा
नए यमुना ब्रिज का मेंटिनेंस शुरू करने के जिम्मेदार चालू ट्रैफिक को बड़ी वजह बता रहे हैं। कहते हैं कि यह समस्या ठीक उसी तरह से है जैसे शास्त्री ब्रिज के मेंटिनेंस में उत्पन्न हुई थी। यमुना का नया ब्रिज हाइटेक और चंद पिलर बाकी पुल का पूरा हिस्सा वायर के सहारे लटक रहा है। कहते हैं कि मेंटिनेंस के दौरान यदि ब्रिज से गाडिय़ों का आवागमन बना रहा तो बड़ा खतरा हो सकता है। बैरिंग रिपेयर व बीम स्टेचनिंग व इक्सपेंशन का काम काफी जोखिम भरा होता है। थोड़ी सी लापरवाही पर ब्रिज के डैमेज होने का खतरा है। जब तक ब्रिज से आवागमन बंद नहीं होगा मेंटिनेंस का काम युद्ध स्तर पर चल पाना संभव नहीं होगा। बताते यह भी हैं कि ट्रैफिक को ब्रिज से बंद कराने के लिए एनएचआई के पीडी द्वारा जिलाधिकारी प्रयागराज, एसएसपी प्रयागराज व एसपी ट्रैफिक प्रयागराज को लेटर एक महीने पूर्व ही भेजा जा चुका है। फिर भी इस ओर जिले के शीर्ष अफसर ध्यान देना मुनासिब नहीं समझ रहे।

शास्त्री ब्रिज पर खतरे में है यात्रियों की जान
कई जनपदों को शहर से कनेक्ट करने वाले शास्त्री ब्रिज के मेंटिनेंस का काम शुरू जरूर हो गया है पर गति काफी धीमी है। मेंटिनेंस का काम इसी गति से चला तो पूरा होने में काफी वक्त लग सकते हैं। मौजूदा समय में इस ब्रिज की स्थिति काफी दयनीय है। ब्रिज के ऊपर से लोग जान जोखिम में डालकर सफर करने को विवश हैं। ब्रिज के मेंटिनेंस का काम पीडब्लूडी के द्वारा कराया जा रहा है। मेंटिनेंस के वक्त में पिछले दिनों ब्रिज के दोनों लेन पर चालू ट्रैफिक व्यवस्था रोड़ा बनी हुई थी। दैनिक जागरण आईनेक्स्ट द्वारा इस समस्या को प्रमुखता से प्रकाशित किया गया। खबरों को संज्ञान लेते हुए डीएम द्वारा मेंटिनेंस वर्क पूरा होने तक बस और ट्रक जैसे भारी वाहनों पर रोक लगा दी गई है। ट्रैफिक पुलिस कार व तिपहिया जैसे छोटे वाहनों को संचालित करने के लिए शास्त्री ब्रिज को वन-वे कर दिया है। यह छोटे वाहन एक लेन से आवागमन कर रहे हैं। बाइक चालक शास्त्री ब्रिज के दोनों लेन से शहर आ और जा रहे हैं। कई जगह इस ब्रिज पर जानलेवा होल हैं। यह होल सफर करने वाले यात्रियों खासकर बाइक चालकों के लिए खतरा बना हुआ है। ब्रिज का काम कब तक पूरा होगा यह बता पाने में विभाग असमर्थता जता रहा है।

यमुना नए ब्रिज के मेंटिनेंस का काम फ्रांस की कंपनी को सीधे सरकार द्वारा नामित किया गया है। ब्रिज के मेंटिनेंस का काम चालू है। चूंकि ट्रैफिक का संचालन अधिक है इसलिए मेंटिनेंस वर्क में थोड़ी समस्या आ रही है। ट्रैफिक डायवर्ट या रोकने के लिए डीएम एवं एसएसपी व एसपी ट्रैफिक को लेटर भेजा गया है। कम कितने महीने में पूरा होगा अभी यह कह पाना मुश्किल है। इतना मानकर चलिए कम से कम चार से छह महीने तो लगेंगे ही।
पंकज मिश्रा, प्रोजेक्ट डायरेक्टर एनएचआई