1976 में हुई थी शुरुआत
पहले ट्रांसपोर्ट नगर यमुना किनारे होता था। हाथीघाट, देरसी नंबर 2-3, यमुना किनारा, सक्सेरिया रोड, फ्री गंज में ट्रांसपोर्ट कंपनियां थीं। ताज पर आने वाले वीवीआईपी को जाम व अन्य मुद्दों को लेकर वर्ष 1976 में ट्रांसपोर्ट नगर को शिफ्ट करने की शुरूआत हुई। हाईवे स्थित टीपी नगर में ट्रांसपोर्टर को प्लॉट दिए गए। उस दौरान करीब 250 ट्रांसपोर्टर ने प्लॉट बुक कराए। जिन ट्रांसपोर्टर्स ने टीपी नगर में शुरूआत में प्लॉट खरीदे, उनमें से भी सिर्फ 70 परसेंट ने प्लॉट पर निर्माण कराया। 30 परसेंट ने ट्रांसपोर्ट कंपनियां खोली। अधिकतर प्लॉट खाली पड़े हैं या फिर उन पर और कोई व्यापार किया जा रहा है।

मजबूत इच्छाशक्ति की जरुरत
ट्रांसपोर्ट चैंबर के अध्यक्ष वीरेंद्र गुप्ता ने बताया कि यमुना किनारे से ट्रांसपोर्ट कंपनियों को पूरी तरह से शिफ्ट नहीं किया गया। वहां आज भी ट्रांसपोर्ट कंपनियां संचालित है। वहां के कारोबारी शिफ्ट होने के लिए तैयार भी हैं। उनके लिए 300 प्लॉट की आवश्यकता है। ऐसा भी नहीं है कि टीपी नगर में जगह नहीं है। यहां ट्रांसपोर्ट की जगह अन्य कारोबार करने वालों ने प्लॉट खरीदकर डाल दिए हैं। कई ट्रांसपोर्टर ने भी प्लॉट खरीदकर डाल दिए हैं, लेकिन यहां व्यापार नहीं कर रहे। ऐेसे सभी प्लॉट को ट्रांसपोर्टर्स को देना चाहिए। लेकिन, इसके लिए शासन-प्रशासन की मजबूत इच्छा शक्ति की जरूरत है।


पूरी तरह से शिफ्ट हो कारोबार
ट्रांसपोर्ट नगर में मौजूदा समय में करीब 60 ट्रांसपोर्टर्स एक्टिव हैं। जबकि अन्य व्यापारिक गतिविधियों में होटल, खानपान की दुकान, ऑटोमोबाइल पाट्र्स, वर्कशॉप, टायर की शॉप आदि गतिविधियां शामिल हैं। वहीं यमुना किनारे स्थित पुराने स्थान पर आज भी ट्रांसपोर्टर्स कंपनियां आज भी संचालित हैं। जिसके चलते टीपी नगर में ट्रांसपोर्टर्स की संख्या कम है। कारोबारियों ने यमुना किनारे से ट्रांसपोर्टर्स को टीपी नगर में शिफ्ट करने की मांग की।

यहां अब भी संचालित ट्रांसपोर्ट कंपनी
- जीवनी मंडी
- सक्सेरिया रोड
- दरेसी-2,3
- फ्री गंज
- जाटनी का बाग

टीपी नगर पर नजर
स्थापना::वर्ष 1976
नगर निगम::1988-90 में किया ट्रांसफर
सेक्टर:::6
ट्रांसपोर्टर्स के प्लॉट::250
ऑटोमोबाइल पाट्र्स शॉप::500-600
टायर शॉप (नए):::15-20
टायर शॉप (पुराने)::50-60
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कारोबारियों की मांगें
- सड़क का निर्माण कराया जाए
- पार्किंग स्थल की मरम्मत हो
- पानी की सप्लाई सुनिश्चित की जाए
- टॉयलेट की प्रॉपर व्यवस्था हो
- पार्क डेवलप किया जाए
- ड्रेनेज सिस्टम ठीक किया जाए
- डेली कूड़ा कलेक्शन किया जाए

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ट्रांसपोर्ट नगर बनने के बाद भी टांसपोर्ट कारोबार पूरी तरह से शिफ्ट नहीं हो सका है। शहर में आज भी कई जगह ट्रांसपोर्ट कंपनियां संचालित की जा रहीं हैं। इन सभी को एक ही स्थान पर शिफ्ट किया जाना चाहिए।
वीरेंद्र गुप्ता, अध्यक्ष, ट्रांसपोर्ट चैंबर एसोसिएशन

टीपी नगर में अव्यवस्थाओं का अंबार है। सड़कें तो गायब हो चुकी हैं। रोड इस तरह खस्ताहाल हैं कि वाहन तक क्षतिग्रस्त हो जाते हैं। कई बार हादसे भी जाते हैं।
शैलू पंडित


टीपी नगर क्षेत्र में ही आईएसबीटी स्थित है। रोज हजारों की संख्या में पैसेंजर्स का आवागम रहता है। बावजूद इसके बुनियादी सुविधाओं का इस क्षेत्र में अभाव है। सड़क तक खस्ताहाल है।
सोमा चौधरी

ट्रांसपोर्ट नगर की बदहाली के लिए नगर निगम व क्षेत्रीय पार्षद जिम्मेदार हैं। रोज हजारों की संख्या लोग टीपी नगर में आते हैं। आईएसबीटी पर भी पैसेंजर्स की भीड़ रहती है। बावजूद इसके इस क्षेत्र की ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा है।
राहुल तिवारी