आगरा(ब्यूरो)। यूपीएमआरसी के एमडी सुशील कुमार ने कहा कि सुरंग के निर्माण में टनल बोरिंग मशीन का मुख्य योगदान रहेगा। अंडरग्राउंड सेक्शन में मेट्रो का संचालन एवं सुरंग का सटीक ढांचा इसी पर निर्भर करता है। टीबीएम को रामलीला मैदान से लॉन्च किया जाएगा (जिसे आम भाषा में 'लॉन्चिंग शाफ्टÓ कहा जाता है) और ताजमहल स्टेशन की ओर बढ़ेगा। शाहजहां गार्डन में 'मिड शाफ्टÓ का प्रस्ताव दिया गया है, ताकि किसी भी आपातकाल स्थिति में बीच में ही टीबीएम को आसानी से निकाला जा सके।

प्रायोरिटी सेक्शन पर नजर
इसके साथ ही ताजमहल के आगे, पुरानी मंडी चौराहे के पास 'रिट्रीवल शाफ्टÓ ( जहां से टीबीएम को निकाला जाएगा) का निर्माण किया जा रहा है। इसी तरह दूसरी टीबीएम आरबीएस कॉलेज मेट्रो स्टेशन से नीचे उतारी जाएगी (लॉन्चिंग शाफ्ट) और जामा मस्जिद स्टेशन के पास निकाली जाएगी, यानि रिट्रीवल शाफ्ट वहीं स्थित होगी। टीबीएम वर्तमान में ताजमहल से जामा मस्जिद स्टेशन तक प्रायोरिटी कॉरिडोर 3 किमी अंडरग्राउंड सेक्शन काम करेगा। प्रायोरिटी कॉरिडोर में ताजमहल, आगरा किला एवं जामा मस्जिद भूमिगत मेट्रो स्टेशन होंगे।

टीबीएम के पुर्जों में शामिल
1. कटर हेड: टीबीएम मशीन का मुख्य कटर जो मलबे और कीचड़ को काटता है और मशीन के चलने के लिए रास्ता बनाता है।
2. सेगमेंट इरेक्टर: जब टीबीएम मशीन चलती है, मशीन का यह हिस्सा कंक्रीट से बने प्रीकास्ट रिंग सेगमेंट के निर्माण को सक्षम बनाता है जो एक साथ सुरंग बनाते हैं। टीबीएम के अन्य हिस्सों में मेन लॉक, स्क्रू कन्वेयर और ब्रिज गैन्ट्री शामिल हैं, जिन्हें भी रामलीला मैदान में उतारा गया है।

अन्य स्पॉट पर भी तेजी से कार्य
प्रायोरिटी सेक्शन में मेट्रो का कार्य तेजी से चल रहा है। एलीवेटिड सेक्शन में 80 परसेंट से अधिक कार्य हो चुका है। इसके साथ ही यहां पटरी बिछाने का कार्य जारी है। वहीं, फतेहाबाद रोड स्थित मेट्रो डिपो में पटरी बिछाई जा चुकी है। इसके साथ ही शहर के अन्य स्पॉट पर भी मेट्रो का कार्य जारी है। इनमें आगरा कॉलेज और आरबीएस पर भी कार्य फुल स्पीड के साथ जारी है। सबसे पहले प्रायोरिटी सेक्शन में मेट्रो का संचालन किया जाएगा।


आगरा में मेट्रो प्रोजेक्ट की स्थिति

ट्रैक
29.4 किमी

कॉरिडोर

2

स्टेशंस
27

ताज ईस्ट गेट से सिकंदरा, 14 किमी, 13 स्टेशन, 6 एलीवेटेड, 7 अंडरग्राउंड
आगरा कैंट से कालिंदी विहार, करीब 16 किमी, 14 ऐलीवेटेड स्टेशन


सुरंग के निर्माण में टनल बोरिंग मशीन का मुख्य योगदान रहेगा। अंडरग्राउंड सेक्शन में मेट्रो का संचालन एवं सुरंग का सटीक ढांचा इसी पर निर्भर करता है।
सुशील कुमार, एमडी, यूपीएमआरसी