अखिल कुमार
आगरा(ब्यूरो)। दोनों कंपनियों ने कई अन्य बोगस कंपनियां बनाकर आगरा समेत देशभर में ठगी का जाल फैला रखा था, जनता को रकम दोगुना करने का लालच देकर इन कंपनियों ने फंसाया था। वहीं, 2017 में भंडाफोड़ के बाद आगरा से कंपनी के एक डायरेक्टर हरि सिंह को राजस्थान पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
15 परिसरों में छापेमारी
लालच देकर जनता को फंसा रहीं चिटफंड कंपनियों पर प्रवर्तन निदेशालय का शिकंजा लगातार कस रहा है। ईडी ने 1 मार्च को बड़ी कार्रवाई करते हुए आगरा समेत वेस्ट बंगाल की राजधानी कोलकाता, सिलीगड़ी और हावड़ा में छापेमारी की। एजेंसी ने पूर्व में आगरा में संचालित चिटफंड कंपनी पिनकॉन ग्रुप और टावर इन्फोटेक लिमिटेड के खिलाफ पूर्व में दर्ज मुकदमे के आधार पर कार्रवाई की गई है। ईडी ने पिनकॉन ग्रुप और टावर इन्फोटेक लिमिटेड के निदेशक मनोरंजन राय, हरि सिंह, बेनीफिशरीज सुभारती बनर्जी, संजय बसु, मीना डे और रामेंद्रु चट्टोपाध्याय और इडेन इंफ्राप्रोजेक्ट्स प्राइवेट लिमिटेड के बेनीफिसरी और डायरेक्टर इंद्रजीत डे, सच्चिदानंद राय के आवासों पर छापा मारा है। बता दें कि डायरेक्टर हरि सिंह ने आगरा के लॉयर्स कॉलोनी में चिटफंड कंपनी का कार्यालय खोल रखा था, जहां से वो आगरा, आसपास के जनपदों एवं राज्यों में गोरखधंधे का संचालन करता था।
लालच देकर फंसाया
ईडी ने बताया कि दोनों कंपनियों ने देश में बड़ा नेटवर्क तैयार किया था। केंद्रीय एजेंसी की तफ्तीश में निकलकर आया कि मनी लांड्रिंग के जरिए टावर इंफ्रोटेक लिमिटेड ने 156 करोड़ और पिनकॉन ग्रुप ने 638 करोड़ रुपए इनवेस्टर्स से जुटाया था। रकम को दोगुना करने का लालच देकर देशभर में लोगों को फंसाया गया और उनसे मोटी रकम की उगाही की गई। जिसके बाद इन दोनों कंपनियों ने पैसा न लौटाकर जनता को ठगा। छापेमारी के दौरान ईडी ने सभी के ठिकानों से 1.27 करोड़ रुपए जब्त किए वहीं एजेंसी को कई आपत्तिजनक दस्तावेज, डिजिटल दस्तावेज, मोबाइल फोन और लैपटाप बरामद किए हैं।
आगरा में हरि सिंह संभालता था
2017 में पिनकॉन ग्रुप के चेयरमैन और डायरेक्टर समेत अन्य पर करोड़ों रुपए की धोखाधड़ी के आरोप में मुकदमा दर्ज हुआ जिसके बाद राजस्थान स्पेशल ऑपरेशन ग्र्रुप (एसओजी) ने आगरा से कंपनी के डायरेक्टर लायर्स कॉलोनी निवासी हरि सिंह को गिरफ्तार किया। कंपनी ने आगरा में रीजनल ऑफिस खोलकर निवेश कराना शुरू किया था। यहां से आगरा मंडल के साथ-साथ राजस्थान के पांच शहरों की शाखाएं भी संचालित थीं। कई राज्यों के तीन लाख से अधिक लोगों का 1600 करोड़ रुपए का निवेश आया। रुपए वापस करने का समय आने पर कंपनी ने कुछ ऑफिस बंद कर दिए, तो कहीं पर निवेशकों को टरकाया जा रहा था। जांच में कंपनी के रीजनल मैनेजर से डायरेक्टर बने लॉयर्स कॉलोनी निवासी हरी सिंह का नाम आया।
पिनकॉन ग्रुप की ये हैं कंपनियां
एलआरएन फाइनेंस लिमिटेड, एएसके फाइनेंशियल सॢवसेज लिमिटेड, ग्रिनेज फूड प्रोडक्ट लिमिटेड, बंगाल पिनकॉन हाउसिंग इन्फ्रा लिमिटेड, एलआरएन यूनिवर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड, यूनिवर्सल मल्टीस्टेट क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटी।
आगरा में 70 हजार से ठगी
चिटफंड कंपनियों में अपने खून पसीने की कमाई गंवाने के बाद अब लोगों को फिर से एक बार उम्मीद जगी है कि उनका पैसा शायद वापस मिल जाए। अब ये लोग खुलकर सामने आ रहे हैं। जनपद की सदर समेत सभी 6 तहसीलों में करीब 70 हजार लोगों ने अपनी शिकायत तहसील मुख्यालय में दी है। करीब 50 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी आगरा एवं आसपास के क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के साथ हुई है। तहसील मुख्यालयों में अभी भी पीडि़तों का आना जारी है। सदर तहसील में 22 लोगों ने चिटफंड कंपनियों द्वारा धोखाधड़ी का शिकार होने की शिकायत करते हुए अपनी पीड़ा व्यक्त की है।