सुबह घर के लिए पानी स्टोर करना चुनौती
किशोरपुरा में रहने वाले वाशिंदे एक दशक बाद भी पानी के लिए भटकने को मजबूर हैं। रोजाना सुबह उठने के बाद यहां रहने वाले लोगों के बीच पानी कलेक्ट करना एक बड़ी चुनौती है। लंबे इंतजार के बाद 10 साल पहले क्षेत्र में पाइपलाइन डाली गई। ऐसा लगा कि अब क्षेत्र में जलसंकट दूर हो गया है। शुरुआत में पानी कुछ दिन तक आया, लेकिन फिर बंद कर दिया गया.अब घर में पानी स्टोर करने के लिए दर-दर भटकना पड़ता है। दूरदराज क्षेत्रों की दौड़ लगानी पड़ती है।

कभी-कभी लौटना पड़ता है बिना पानी के
क्षेत्रीय निवासी सावित्री देवी ने बताया कि दिन में घर के सदस्य काम पर जाते हैं। शाम को जब वह आ जाते हैं तो रात में पानी भरने के लिए फिर से जाते हैं। किशोरपुरा की गली नंबर चार से छह सौ मीटर की दूरी पर एक सबमसिर्बल है, जहां से पानी भरकर लाना पड़ता है। वहां भी लोगों की भीड़ अधिक होती है। कभी-कभी झगड़ा होने पर बिना पानी के लौटना पड़ता है। जब मोहल्ले में पाइपलाइन बिछी थी तो उम्मीद जगी थी कि जलसंकट खत्म हो जाएगा। लेकिन किसी के घर पानी भरने जाते हैं तो वह भी मना कर देते हैं, कि हमारे लिए नहीं है आपको कैसे दें।

पानी की लाइन बनी शोपीस
किशोरपुरा की गली नंबर चार में रहने वाले रामगोपाल ने बताया कि उनके एक दशक पूर्व क्षेत्र में पाइपलाइन डाली गई थी। शुरुआत में पानी भी आया। पिछले कई वर्षों से जलसंकट से जूझ रहे लोगों को राहत मिली। लेकिन अब इस क्षेत्र में फिर से संकट गहरा गया है। लोगों को दूरदराज क्षेत्र से पानी भरकर लाना पड़ रहा है। इसके साथ ही आसपास की बस्तियों में रहने वाले एरियाज में भी पानी की समस्या है। बस्ती में पानी की लाइन तो है पर पानी नहीं हैं, अन्य एरियाज में पानी की लाइन तक न हीं बिछी है।


क्या कहते हैं स्थानीय लोग
इस संबंध में कई बार जलकल अधिकारियों को अवगत कराया, जीएम जलकल कुलदीप सिंह से भी शिकायत की, लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं है। इसका खामियजा लोगों को भुगतना पड़ रहा है। घरों में पानी को लेकर एक बड़ी समस्या है।
मुरारीलाल भारती, किशोरपुरा


बस्ती के लोगों ने जलकल विभाग के अधिकारियों से इसकी शिकायत की थी, आश्वासन दिया गया, लेकिन समस्या का समाधान आज तक नहीं किया गया। जिम्मेदारों की लापरवाही का परिणाम आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। गर्मी में लोगों को पानी के लिए भटकना पड़ता है।
अशोक कुमार, किशोरपुरा, गली नंबर 4


पाइपलाइन डलवाई गई थी। तब पानी भी आया था। यहां 10 वर्ष के बाद भी जलसंकट दूर नहीं हुआ है, लेकिन अब फिर से लोग बूंद-बूंद पानी के लिए भटकने को मजबूर है। कई बार जलकल अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन कोई सुनने को तैयार ही नहीं है।
सावित्री देवी, किशोरपुरा


इलाके में पिछले कई वर्षों से जलसंकट से जूझ रहे लोगों को राहत नहीं मिल रही है। अब इस क्षेत्र में पानी का जलस्तर भी नीचे है। आसानी से लोगों के घरों में पानी नहीं पहुंच रहा है।
किशन सिंह, किशोरपुरा


हर बार चुनाव होते है, यहां आने वाले जनप्रितिनिध वादा करते हैं, कि हम जीतने के एक महीने के भीतर पाइप लाइन में पानी चलवाएंगे, लेकिन कोई नहीं आता।
सरदार सिंह, किशोरपुरा


पानी एक बड़ी समस्या बन गई है, ऐसे लोगों को सोचना चाहिए जो अपने घरों के बाहर पाइप लेकर खड़े रहते हैं, पानी वेस्ट करते हैं। यहां एक बूंद के परेशान होना पड़ता है।
रामगोपाल, किशोरपुरा, वार्ड सात