आगरा (ब्यूरो)। अगर आप इंश्योरेंस पॉलिसी होल्डर हैं, लंबे समय से किस्त जमा नहीं होने के कारण आपकी पॉलिसी लैप्स हो चुकी है तो ये खबर आपके लिए हैं। क्योंकि शहर में ऐसे कई गैंग एक्टिव है। जो लैप्स इंश्योरेंस पॉलिसी होल्डर का डेटा खरीदकर उनको पॉलिसी रिन्यूवल कराने का लालच देकर ठगी का शिकार बना रहे हैं। शातिर पॉलिसी रकम दो गुना वापस दिलाने का लालच देकर अब तक दर्जनों लोगों को ठगी का शिकार बनाकर करोड़ों रुपए एंठ चुके हैं।
लाखों रुपए में बिक रहा पॉलिसी होल्डर का डेटा
शहर में एक्टिव साइबर ठग अलग-अलग तरह से लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैँ। थाना हरीपर्वत पुलिस ने इस मामले में छह लोगों को अरेस्ट किया है, पकड़े गए शातिरों ने बताया कि लैप्स इंश्योरेंस पॉलिसी को रिन्यूवल करवाने के नाम पर मोटी रकम का लालच देते थे। पॉलिसी की रकम वापस मिलने के लालच में लोग ठगी का शिकार हो जाते थे। एसीपी हरीपर्वत आदित्य ने बताया कि साइबर ठग सबसे पहले ऐसे लोगों का डेटा कलेक्ट करते थे, जो इंश्योरेंस पॉलिसी धारक हैं। उनमें से ऐसे लोग जिनकी पॉलिसी लैप्स हो चुकी है, उनका पॉलिसी नंबर और नाम पता लेकर उनको कॉल करते थे। ये डेटा लाखों रुपए में साइबर ठग खरीदते थे। इसके बाद ठगी का खेल शुरू होता था।
पॉलिसी की रकम दोगुना का देते थे लालच
पकड़े गए शातिर पुष्पेन्द्र, देवेश, पुष्कर ने बताया कि वे अपने साथियों के साथ मिलकर लोगों से लैप्स इंश्योरेंस पॉलिसी का डाटा प्राप्त करते थे। इसके बाद लैप्स इंश्योरेंस पॉलिसी धारकों को रिन्यूवल कराने के नाम पर फर्जी सिम से कॉल करके उनको वे अपने आपको इंश्योरेंस कंपनियों के कस्टमर केयर, मैनेजर बनकर बताते हैं कि आपकी इंश्योरेंस पॉलिसी लैप्स हो गयी है। अगर आप इस पॉलिसी को चालू करना चाहते हैं। तो हमारी कंपनी एक अच्छा स्कीम दे रही है। आप और पैसा जमा कर दें तो आपको टोटल पॉलिसी का 50 प्रतिशत फायदा होगा। और आपको दोगुनी धनराशि मिल जाएगी।
जीएसटी, इनकम टैक्स के नाम पर भी वसूली
मोटी रकम मिलने के लालच में इंश्योरेंस पॉलिसी धारक पैसा जमा कर देते थे, शातिर पीडि़त को बताते थे कि आपको जीएसटी अलग से देना पड़ेगा व इनकम टैक्स भी देना पडेगा। इसके पैसे भी जमा करवा लिया करते थे, इस संबंध में आरोपी की गिरफ्तारी से लैपटॉप से सभी साक्ष्य एकत्र किए गए हैं। जीएसटी, इनकम टैक्स, कॉपरेट ऑफ होम मिनिस्टरी व संबंधित इंश्योरेंस पॉलिसी कंपनियों की मुहर आदि की कॉपी बरामद की है।
नोएडा मेें 5 हजार मेें खरीदते थे फर्जी सिम
ठगी करने वाले शातिर आरोपी पुष्पेन्द्र, देवेश, पुष्कर ने बताया कि कॉलिंग करने के लिए जो सिम उपयोग करते थे, वो फर्जी नाम पते पर मोबाइल शॉप सेक्टर 8, नोएडा, गौतमबुद्धनगर में दुकान मालिक अनवर से संपर्क कर लेते थे। जिसके एवज में अनवर को प्रति सिम पर 5 हजार रूपए देते थे। इस सिम के जरिए कॉलिंग कर लोगों को ठगी का शिकार बनाते थे। सभी ठगी की रकम को आपस में बांट लिया करते थे। जन सेवा केन्द्र वाले गुलशन को 12 फीसदी और अकाउंट में रुपए ट्रांसफर करवाने वालों को 15 फीसदी रुपए दिया करते थे।
रिटायर्ड इंस्पेक्टर भी शिकार
शातिर 4-5 करोड़ रुपए का फ्रॉड कर चुके हैं। जिसमें पंजाब पुलिस के इंस्पेक्टर भी इसका शिकार हुए हैं। पंजाब पुलिस के रिटायर्ड इंस्पेक्टर से ले चुके हैं। पैसा जन सुविधा केंद्र चलाने वाले सुनील पांडेय ने बताया कि पंजाब पुलिस के एक रिटायर्ड इंस्पेक्टर से भी लगभग 9 लाख रुपए रिन्युअवल के नाम पर ले चुके हैं। इनके पास से कार, लैपटॉप, 10 मोबाइल, 3 मोबाइल की पैड वाले, डायरी और 4 लाख रुपए कैश मिले हैं।