आगरा(ब्यूरो) ग्रामीणों का आरोप है कि संरक्षित गौशाला में गौशाला संरक्षण केंद्र में चारा भूसा नहीं मिलने के कारण भूख से लगभग 11 गायों की मौत हो गई। जिनके शवों को श्वान नोंचकर खा रहे थे। वहीं गौशाला संरक्षण केंद्र में गौशाला के कुछ कर्मचारी चोरी चुपके जेसीबी मशीन द्वारा गड्ढा खोदकर गायों के शवों को दफना रहे थे। गायों की एक साथ हुई मौत की सूचना पर ग्रामीणों में हड़कंप मच गया।

ग्रामीणों ने काटा हंगामा
ग्रामीण गौशाला के पास पहुंचे और हंगामा खड़ा कर दिया। गायों के शवों को दफनाने से रोक दिया। तत्काल इस मामले की सूचना डीएम आगरा सहित प्रशासनिक अधिकारियों को दी गई। उच्चाधिकारियों के आदेश पर पशुपालन विभाग पशु चिकित्सकों की टीम के साथ डॉ। लोकेश अग्रवाल, डॉ। शिवांगी पशु चिकित्सक पिनाहट, ग्राम प्रधान अशोक कुमार, पंचायत सचिव गोपाल सिंह, अन्य ब्लॉक कर्मचारियों के साथ मौके पर पहुंचे। गौशाला संरक्षण केंद्र में निरीक्षण किया गया जहां चार गाय मौके पर मृत पाई गई। तत्काल ही जेसीबी मशीन द्वारा गड्ढा खोदकर शवों को दफना कर अंतिम संस्कार किया गया।

गौशाला में कर्मचारियों की लापरवाही भुखमरी के चलते करीब 11 गायों की मौत हुई है। जिसे छुपाया जा रहा है। कुछ गायों को चोरी चुपके दफना दिया गया।

-तपेंद्र, ग्रामीण

बाहर से गौ संरक्षण केंद्र में जो भी गाय पहुंचती हैं वह या तो घायल अवस्था में है या फिर बीमार अवस्था में होती हैं। जिनका स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा इलाज किया जाता है। सांडों की लड़ाई में कुछ गायों के चपेट में आने से मौत हुई है।
-डॉ लोकेश अग्रवाल