क्या है रिपोर्ट में
जानकारी के मुताबकि छोटे छत पर लगे (रूफटॉप) सौर ऊर्जा संयंत्रों से अगले आने वाले दस सालों में देश में कुल मिलाकर 3.25 लाख रोजगार के अवसरों का और सृजन होगा. ऐसा रणनीतिक परामर्श, मार्केट इंटेलिजेंस तथा परियोजना विकास क्षेत्र की कंपनी ब्रिज टू इंडिया की एक रिपोर्ट में कहा गया है. रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि छोटा रूफटॉप क्षेत्र रोजगार सृजन में सबसे अधिक योगदान देगा. इसका मतलब यह है कि ज्यादा से ज्यादा स्मॉल रूफ टॉप ज्यादा से ज्यादा रोजगार का सृजन करेगी. जितने ज्यादा स्मॉल रूफ टॉप उतने ही ज्यादा रोजगार के अवसर.
रूफटॉप को बांटा गया है इस क्रम में
इसी क्रम में आगे कहा गया है कि इससे अनुमान लगाया जा सकता है कि अगले दस साल में इस क्षेत्र में 3,25,000 रोजगार के अवसरों का सृजन होगा. रिपोर्ट के अनुसार सौर ऊर्जा क्षेत्र को चार खंडों में बांटा गया है. इनमें स्मॉल रूफटॉप, लार्ज रूफटॉप, यूटिलिटी स्केल परियोजनाएं और अति वृहद परियोजनाएं भी शामिल हैं. स्मॉल रूफटॉप सौर ऊर्जा परियोजना का औसत आकार तीन किलोवाट पीक (केडब्ल्यूपी) मापा गया है. वहीं लार्ज रूफटॉप परियोजना का औसत आकार 250 केडब्ल्यूपी, यूटिलिटी स्केल परियोजना 20 मेगावाट व अति वृहद परियोजना 1000 मेगावाट की होती है.
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