यूनाइटेड नेशंस की वेदर एजेंसी के अकॉर्डिंग 2014 अब तक का सबसे गर्म साल रहा है.  वर्ल्ड मेट्रोलॉजिकल आर्गनाइजेशन (WMO) के हिसाब से 2014 में एवरेज ग्लोबल एयर टेम्परेचर कंसीडर किए गए टाइम पीरियड 1961-1990 के एवरेज टेंपरेचर 14 सेल्सियस से 0.57 डिग्री सेल्सियस ज्यादा रहा. इस दौरान डब्लूएमओ के सेक्रेटरी जनरल मिशेल जाराउद ने कहा कि 15 में 14 गर्म साल इसी सेंचुरी के हैं. उन्होंने कहा कि रिकॉर्ड तोड़ गर्मी के साथ 2014 में दुनिया के कुछ देशों को हैवी रेन फॉल और बाढ़ से जूझना पड़ा तो वहीं एक बड़ा इलाका सूखे की चपेट में भी रहा है.

 

गौरतलब है कि ग्लोबल क्लाइमेट पैक्ट पर बातचीत करने के लिए यूनाइटेड नेशंस की मेंबर कंट्रीज नेक्स्ट वीक जेनेवा में मीटिंग कर रही हैं. इसका मकसद मेंबर कंट्रीज को दिसंबर में पेरिस में हो रही मीटिंग में ग्रीनहाउस गैसों के उत्सर्जन को रोकने वाले पैक्ट पर साइन करने के लिए राजी करना है. जराउद का कहना है कि अगर हमने इसी तरह ग्रीन हाउस एयर को क्लाइमेंट में जाने दिया तो हमारा एट्मासफियर ग्लोबल वार्मिंग के डेंजरस लेवल तक पहुंच जाएगा.

डब्लूएमओ के अकॉर्डिंग केवल कुछ हंड्रेड डिग्री का डिफरेंस 2014 को वार्मेस्ट ईयर की कैटेगरी में ले आया है. जहां 2005 और 2010 में टैंपरेचर 0.54 C  और 0.55 C  डिग्री तक था वहीं 2014 में ये 0.57 C डिग्री पहुंच गया. कहने का मतलब ये है कि हम हमेशा डेंजर लरइन के आसपास ही रहे हैं.

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