कारगिल (एएनआई)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को कारगिल विजय दिवस की 25वीं वर्षगांठ के अवसर पर कारगिल में संबोधन के दौरान अग्निपथ योजना पर जोर दिया। पीएम मोदी ने कहा कि देश को दशकों से रक्षा क्षेत्र में बड़े सुधारों की जरूरत महसूस हो रही थी। सेना सालों से इसकी मांग कर रही थी, लेकिन दुर्भाग्य से पहले इसे पर्याप्त महत्व नहीं दिया गया। अग्निपथ योजना भी सेना में किए गए जरूरी सुधारों का एक उदाहरण है। दशकों से संसद और कई समितियों में सेना को युवा बनाने पर चर्चा चल रही है। पीएम मोदी ने कहा, जो लोग देश के युवाओं को गुमराह कर रहे हैं। उनका इतिहास इस बात का सबूत है कि उन्हें सैनिकों की कोई परवाह नहीं है। ये वही लोग हैं जिन्होंने 500 करोड़ रुपये की मामूली राशि दिखाकर OROP पर झूठ बोला था। यह हमारी सरकार है जिसने उसे लागू किया। पूर्व सैनिकों को 1.25 लाख करोड़ रुपये से अधिक दिए गए। पीएम मोदी ने कहा कि भारत में सैनिकों की औसत आयु वैश्विक औसत से अधिक है, जो वर्षों से चिंता का विषय था और अग्निपथ ने इस मामले को सुलझाया। उन्होंने कहा, भारतीय सैनिकों की औसत आयु वैश्विक औसत से अधिक होना चिंता का विषय रहा है। यही कारण है कि यह मुद्दा कई समितियों में सालों से उठाया जाता रहा है। हालांकि देश की सुरक्षा से जुड़ी इस चुनौती को हल करने की इच्छाशक्ति पहले नहीं दिखाई गई। अग्निपथ योजना के माध्यम से देश ने इस चिंता का समाधान किया है।
सेना का मतलब 140 करोड़ देशवासियों की आस्था
पीएम मोदी ने कहा, कुछ लोग सोचते थे कि सेना का मतलब राजनेताओं को सलामी देना, परेड करना है, लेकिन हमारे लिए सेना का मतलब 140 करोड़ देशवासियों की आस्था है। अग्निपथ का लक्ष्य सेना को युवा बनाना है। अग्निपथ का लक्ष्य सेना को लगातार युद्ध के लिए फिट रखना है। प्रधानमंत्री ने योजना का विरोध करने वाले विपक्षी दलों की आलोचना करते हुए कहा कि वे राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े संवेदनशील मुद्दे का राजनीतिकरण कर रहे हैं। कुछ लोग सेना के इस सुधार पर भी अपने फायदे के लिए झूठ की राजनीति कर रहे हैं।
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