फिल्म हालेदिल का वो गाना तो आपने सुना ही होगा जिसके बोल हैं, “आग लगे आजकल के फैशन नू”. अगर नहीं सुना तो बालीवुड मूवी 'फुटपाथ' तो जरूर देखी होगी जिसमें इमरान हाशमी कहते हैं, “गोली सर पर नहीं सीने पर चलाओ, अपन को स्मार्ट मरने का है”. आप सोच रहे होंगे कि हम आपको यह सब क्यूं बता रहे हैं तो वह इसलिये कि अब ये सिर्फ फिल्मी बातें नहीं रह गई हैं. लोग वाकई फैशन के इस कदर दिवाने हो रहे हैं कि वे जीना ही नहीं बल्कि मरना भी पूरी स्टाइल से चाहते हैं.
सिंगापुर में एक इवेंट में लोगों को उन कपड़ों को दिखाने का मौका दिया गया है जिसे वे अपने क्रीमेशन के वक्त पहनना पसंद करेंगे. इस सिंगापुर में आर्गनाइज किये गये इस प्रोजेक्ट का नाम 'द लास्ट आउटफिट' रखा गया है. इसमें पार्टिसिपेट कर रहे 23 लोगों में से कुछ ने लीवरपूल फुटबॉल क्लब की टी शर्ट, चीनी राजशाही में पहना जाने वाला चोगा और स्विमिंग कास्ट्यूम जैसी ड्रेसेस इस काम के लिए चुनी हैं.
यह प्रोजेक्ट सिंगापुर के न्यूजपेपर ‘द स्ट्रेट्स टाइम्स’ और एक एनजीओ ने मिलकर शुरू किया है. प्रोजेक्ट के सीईओ ली पोह वाह कहते हैं, “ ड्रेसिंग एक लाइफ स्टाइल है. मौत के वक्त भी हमारी ड्रेसिंग यह बता सकती है कि हम कौन थे.”
ली पोह वाह के मुताबिक “यह प्रोजेक्ट इसी फाउंडेशन की लाइफ बिफोर डेथ का एक्प्लोरेशन है जिसमें मरने के वक्त के टैबू को कम करके और लोगों की मौत को भी जिन्दगी की तरह खुशहाल बनाने की कोशिश की जाती है.” उनके मुताबिक जाते समय किसी के कपड़े उसकी अनोखी जिन्दगी के बारे में सारी दुनिया को बता सकते हैं.
इस प्रोजेक्ट के पार्टिसिपेंट सुपरस्टीशन्स को अलग रखकर इसमें शामिल हो रहे हैं. इनका मानना है कि मौत के बारे में बात करने से कोई मर नहीं जाता.
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