कानपुर। क्रिकेट का जन्मदाता इंग्लैंड सिर्फ खेल नहीं वर्ल्ड वार सेकेंड की शुरुआत करने के लिए भी जाना जाता है। साल 1939 में इंग्लैंड ने जब जर्मनी के खिलाफ युद्घ की घोषणा की तो उसके ठीक एक दिन पहले इंग्लैंड के शहर होव में एक क्रिकेट मैच खेला जा रहा था। हालांकि ऐसे में समय इंटरनेशनल क्रिकेट टीमों ने मैच खेलने से इंकार कर दिया था। इसके बावजूद इंग्लैंड की दो घरेलू इंग्लिश टीमें युद्घ की स्थिति में भी मैच खेलने से पीछे नहीं हटी। ये दो टीमें ससेक्स और याॅर्कशाॅयर की थीं।
तीन दिन का खेला गया था मैच
साल 1939 में ससेक्स और याॅर्कशाॅयर के बीच काउंटी चैंपियनशिप का एक तीन दिनी मैच खेला गया। ये मैच 30 अगस्त को शुरु हुआ था और 1 सितंबर तक चला। इस मैच में ससेक्स के कप्तान जे होम्स ने टाॅस जीतकर पहले बैटिंग का निर्णय लिया। पहले बल्लेबाजी करते हुए ससेक्स की टीम 387 रन पर सिमट गई। अब बारी थी याॅर्कशायर की बल्लेबाजी की, याॅर्कशायर ने दूसरी पारी में 392 रन बनाए।
6 ओवर में चटकाए 7 विकेट
दोनों टीमों ने अपनी-अपनी पहली पारी में सम्मानजनक स्कोर बनाया मगर अब कुछ ऐसा होने वाला था, जिसकी कल्पना किसी ने नहीं की थी। दूसरी पारी में ससेक्स की टीम 33 रन पर सिमट गई। ससेक्स की इस खस्ता हाल बैटिंग की असल वजह याॅर्कशायर के गेंदबाज हेडली वेरिटी रहे जिन्होंने 6 ओवर में 9 रन देकर 7 विकेट चटकाए। हेडली की खतरनाक गेंदबाजी के आगे कोई भी ससेक्स बल्लेबाज दहाई का अंक तक नहीं छू सका था।
इधर मैच खत्म, उधर जंग शुरु
तीन दिनों तक चलने वाले इस मैच का आखिरी दिन 1 सितंबर था। याॅर्कशायॅर की टीम बैटिंग कर रही थी। अभी टीम ने एक विकेट खोकर 30 रन ही बनाए थे कि दिन का खेल खत्म हो गया। इंग्लैंड में यह फर्स्ट क्लाॅस क्रिकेट का आखिरी दिन था क्योंकि अगले दिन से युद्घ की घोषणा हो गई थी।
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