2013 का है यह वाक्या
यह बात साल 2013 की है। दिसंबर माह में भारतीय टीम साउथ अफ्रीका दौरे पर गई थी। सीरीज का पहला ही टेस्ट जोहंसबर्ग में खेला गया। भारत ने अपनी पहली पारी में 280 और दूसरी पारी में 421 रन बनाए। जवाब में मेजबान टीम ने पहली पारी में 244 रन बनाए। अब जब अफ्रीकी टीम दूसरी पारी खेलने आई तो उसके सामने 458 रन का टारगेट था। और डेढ़ दिन बाकी था। अफ्रीकी टीम ने काफी कोशिश की लेकिन उनका स्कोर 7 विकेट पर 421 तक ही पहुंच पाया। आखिर में यह मैच ड्रा रहा।
साउथ अफ्रीका के खिलाफ ही धोनी ने की थी बॉलिंग,और विकेटकीपर थे विराट कोहली
धोनी की बॉलिंग, कोहली की कीपिंग
साउथ अफ्रीका की दूसरी पारी के दौरान एक खास बात देखने को मिली, वो थी टीम के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी की गेंदबाजी। आमतौर पर माही को दस्ताने पहने विकेटकीपिंग करते ही देखा जाता है लेकिन उस दिन उन्होंने बॉलिंग करने का निश्चय किया। अफ्रीकी पारी के 41 ओवर ही पूरे हुए थे, कि गेंद धोनी ने अपने हाथ में ले ली। सामने थे अफ्रीकी बल्लेबाज फॉफ डु प्लेसिस। अब जब धोनी गेंदबाजी करने आ गए, तो विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी विराट कोहली ने संभाली। अंतर्रराष्ट्रीय मैचों में ऐसा बहुत कम देखने को मिला। धोनी ने इस मैच में सिर्फ 2 ओवर फेंके और 4 रन दिए।
साउथ अफ्रीका के खिलाफ ही धोनी ने की थी बॉलिंग,और विकेटकीपर थे विराट कोहली

 

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