हुसैन पार्टी की पहली पसंद
पार्टी नेताओं ने मंगलवार को कहा कि पीएमएल-एन द्वारा शार्टलिस्ट किए गए तीन उम्मीदवारों में हुसैन शीर्षस्थ पद के लिए सबसे प्रबल दावेदार के रूप में उभरे. नवाज शरीफ के करीबी तारिक अजीम ने बताया कि हुसैन सत्तारूढ़ पार्टी की पसंद थे. उन्हें नामित किए जाने की औपचारिक घोषणा बाद में की जाएगी.
शरीफ के पुराने वफादार
हुसैन शरीफ के पुराने वफादारों में से हैं. सैन्य शासक परवेज मुशर्रफ के कार्यकाल के दौरान भी उन्होंने पीएमएल-एन का साथ नहीं छोड़ा. हुसैन जून से अक्टूबर, 1999 तक (मात्र छह महीने) सिंध प्रांत के गवर्नर रहे. मुशर्रफ द्वारा शरीफ सरकार का सैन्य तख्तापलट करने के बाद उन्होंने अपना पद गंवा दिया था.
इमरान की पार्टी से पूर्व जज उम्मीदवार
हुसैन कराची में रहते हैं, जहां वह कपड़ों का व्यापार करते हैं. बुधवार को राष्ट्रपति पद के लिए नामांकन करने का आखिरी दिन है. पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी ने रजा रब्बानी जबकि इमरान खान की पार्टी तहरीक-ए-इंसाफ ने पूर्व जज वजीहुद्दीन अहमद को अपना उम्मीदवार बनाया है. राजनीतिक दलों के संख्याबल को देखते हुए हुसैन का जीतना तय है.
चुनाव रोकने के लिए हाई कोर्ट में याचिकाएं
पाकिस्तान में राष्ट्रपति चुनाव रोकने के लिए दो याचिकाएं दाखिल की गई हैं. लाहौर हाई कोर्ट में वकील अजहर सादिक ने याचिका दाखिल कर चुनाव फिलहाल रोकने की मांग की है. उन्होंने कहा कि संविधान का अनुच्छेद 63 इसमें इस्तेमाल नहीं किया जा रहा है. इसके चलते मानसिक रोगी, अपराधी या दोहरी नागरिकता वाला कोई व्यक्ति भी चुनाव लड़ सकता है. हाई कोर्ट ने यह मामला चीफ जस्टिस उमर अता बंदियाल को भेज दिया है.
International News inextlive from World News Desk