साइबर सिक्योरिटी के बिना खतरनाक साबित होंगी बैंकिंग Apps और डिजिटल वॉलेट!
हम अपने मनी सेक्टर में सबसे बड़ा चेंज क्या एक्सपेक्ट कर रहे हैं?
मनी सेक्टर मामला है पैसे का। लोगों को लगता है कि मैं डिजिटल पेमेंट क्यों करूं, ऐसा करता हूं तो क्या होगा। कहीं मेरा पैसा कहीं फंस न जाए, फंसा हुआ पैसा वापस मिलेगा भी या नहीं। फिर जब फोन कॉल्स के जरिए मनी फ्रॉड्स की बात होती है तो लोगों का डर और भी बढ़ जाता है। ऐसे में सबसे बड़ी चीज है लोगों को ये विश्वास दिलाना कि उनका पैसा बिलकुल सुरक्षित है और वो बिना किसी फ्रॉड के डर से डिजिटल ट्रांजेक्शंस कर सकते हैं। आने वाले वक्त में भी हमारे पास सबसे बड़ा चैलेंज यही होगा कि हम लोगों को साइबर सिक्योरिटी दें, क्योंकि अभीइसका दायरा काफी कम है। इस पर काम हो भी रहा है और ये इंप्रूव भी होगा।पेटीएम ने इंडिया में 10,000 एटीम लॉन्च करने की बात कही है। इससे मोबाइल बैंकिंग की दुनिया में क्या बदलाव आएगा?
हमारे सामने सबसे बड़ा चैलेंज ये था कि कोई कस्टमर किसी भी वॉलेट अकाउंट में अपने रुपए क्यों रखेगा जब हमारे पास उसे देने के लिए सिर्फ लिमिटेड ऑप्शंस ही थे। इंटरेस्ट भी नहीं था और कस्टमर्स आसानी से पैसा निकाल भी नहीं सकते थे। इसलिए अब पेटीएम एक बैंक हो गया है और अब ये रेग्युलर बैंक की तरह ही अपने कस्टमर्स को सेविंग्स बैंक अकाउंट, डेबिट काड्र्स और वॉलेट के साथ और भी कई फेसिलिटीज देगा।
विजय शेखर शर्मा - फाउंडर, पेटीएम, मोबाइल पेमेंट कंपनी
यूपी के अलीगढ़ से बिलांग करने वाले विजय शेखर शर्मा 2010 में पेटीएम कंपनी शुरू की थी। आज इस कंपनी की नेटवर्थ 1.47 बिलियन डॉलर है। विजय शेखर देश के सबसे युवा बिलिनेयर्स में भी शामिल हो चुके हैं।