Virender Sehwag Birthday: जब बल्ला छोड़ वीरू ने उठा ली बंदूक, देखें सहवाग की 10 अनोखी तस्वीरें
कानपुर। 20 अक्टूबर 1978 को दिल्ली में जन्में वीरेंद्र सहवाग को बचपन से ही क्रिकेट खेलने का शौक था। सहवाग का बल्लेबाजी करने का स्टाईल सबसे जुदा था। बताते हैं वह टेक्निक से नहीं बल्कि आंखों से शॉट मारा करते थे। यानी कि वह आंखों से गेंद देखते ही करारा शॉट जड़ देते थे, वो भी गेंद की लाइन-लेंथ में आए बिना। कई लोगों ने उनकी इस अनोखी तकनीक की आलोचना भी की। मगर वीरू ने 13 साल तक ऐसे ही हैंड-आई कांबिनेशन के साथ क्रिकेट खेला और सफल भी हुए। सहवाग के नाम कई रिकॉर्ड भी दर्ज हैं। सहवाग ने वनडे में दोहरा शतक और टेस्ट में तिहरा शतक जड़ा है। यह दोनों कारनामें करने वाले सहवाग इकलौते भारतीय खिलाड़ी हैं।
सहवाग ने अपने अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत 1999 में पाकिस्तान के खिलाफ वनडे मैच खेलकर की थी, हालांकि पहले एकदिवसीय मैच में वह सफल नहीं हो पाए और एक रन बनाकर आउट हो गए। मगर इसके ठीक दो साल बाद 2001 में वीरू ने टेस्ट में धमाकेदार आगाज किया।
सहवाग ने साउथ अफ्रीका के खिलाफ डेब्यू टेस्ट में शानदार शतक ठोंका। विश्व क्रिकेट के बेहतरीन ओपनर रहे सहवाग ने अपने पहले मैच में 6वें नंबर पर आकर बल्लेबाजी की थी और 105 रन बनाए। इसके बाद तो मानों सहवाग के अंदर रनों की भूख जाग गई, फिर वनडे हो या टेस्ट में क्रिकेट के हर फॉर्मेट में वीरू ने जमकर रन बनाए।
आपको जानकर हैरानी होगी सहवाग ने 100, 200 और 300 रन का आंकड़ा छक्का मारकर पूरा किया था। उस दिन के बाद सहवाग को 'मुल्तान का सुल्तान' कहा जाने लगा। यही नहीं इस धुरंधर बल्लेबाज ने साउथ अफ्रीका के खिलाफ चेन्नई में भी 319 रन बनाए थे और यह उनका हाईएस्ट टेस्ट स्कोर है।
क्रिकइन्फो के डेटा के मुताबिक, सहवाग के नाम 104 टेस्ट मैचों में 49.34 की औसत से 8586 रन दर्ज हैं। इस दौरान उनके बल्ले से 23 शतक और 32 अर्धशतक निकले। वहीं वनडे की बात करें तो इस दिग्गज खिलाड़ी ने 251 मैच खेलकर 35.05 की औसत से 8273 रन अपने नाम किए। जिसमें 15 शतक और 38 अर्धशतक शामिल हैं। अब टी-20 इंटरनेशनल पर नजर डालें तो इस विस्फोटक बल्लेबाज के नाम 19 मैचों में 21.88 की औसत से 394 रन दर्ज हैं, इसमें 2 अर्धशतक भी शामिल हैं।
वीरेंद्र सहवाग काफी हंसमुख क्रिकेटर रहे हैं। मैदान में वह काफी हंसी-मजाक करते थे। इसी से जुड़ा एक किस्सा उन्होंने एक कार्यक्रम मे बताया था। दरअसल यह वाक्या 2008 का है जब भारत और साउथ अफ्रीका के बीच चेन्नई में टेस्ट मैच खेला गया। भारतीय टीम के ओपनर बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग दूसरी बार तिहरे शतक तक पहुंच चुके थे। जैसा कि सहवाग को मैच के दौरान गाना गाने की आदत है, उस दिन भी सहवाग 'तू जाने ना' गाना गा रहे थे। बीच में वह गाने के बोल भूल गए।