वन यूनिवर्सिटी-वन रिसर्च पर यूनिवर्सिटीज ने दिए प्रेजेंटेशन
-राज्यपाल ने सभी विवि से जनवरी 2025 तक रिसर्च कर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के दिए थे निर्देश
देहरादून, 21 मार्च (ब्यूरो)। राज्यपाल ले.जन। गुरमीत सिंह (रिटा) ने थर्सडे को राजभवन में राज्य के यूनिवर्सिटीज के कुलपतियों की बैठक ली। इस दौरान सभी यूनिवर्सिटीज ने वन यूनिवर्सिटी-वन रिसर्च पर अपने प्रेजेंटेशन दिए गए। दरअसल, पूर्व में राज्यपाल की ओर से सभी यूनिवर्सिटीज को राज्य हित में योगदान के लिए एक वर्ष तक अपने रिसर्च के माध्यम से अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए थे, जो राज्य के सामाजिक और आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएं। विश्वविद्यालयों की ओर से अपनी विशेषज्ञता के अनुसार अपने शोध के विषय चयन किया गया है। इस संबंध में सभी कुलपतियों द्वारा वर्तमान तक की प्रोग्रेस का प्रेजेंटेशन दिया गया।बताई गई रिसर्च कार्ययोजना
-दून विवि--उत्तराखंड में महिलाओं के जीवन स्तर में सुधार
-श्रीदेव सुमन विवि--ने प्राचीन भारतीय ज्ञान को आधुनिक संदर्भ में जोडऩा
-संस्कृत विवि--संस्कृति और भारतीय ज्ञान प्रणाली की पुर्नस्थापना
-जीबी पंत कृषि व प्रौद्योगिक विवि--ने उत्तराखंड में शहद क्रांति की शुरूआत
-एसएसजे विवि--जीआईएस में सेंटर ऑफ एक्सीलेंस
-यूटीयू--एआई और टेक्नोलॉजी के उपयोग से राज्य के प्राथमिक और माध्यमिक शिक्षा को मजबूत करना
-उत्तराखंड आयुर्वेदिक विवि--भगंदर बीमारी के लिए क्षारसूत्र का प्रबंधन
-चिकित्सा शिक्षा विवि--जिला चिकित्सालयों में ट्रॉमा केयर प्रबंधन
-मुक्त विवि--दिव्यांग और वंचितों को शिक्षा जागरूकता
-औद्यानिकी एवं वानिकी विवि--सेब, अखरोट व शहद उत्पादन।
-कुमाऊं विवि--पारंपरिक खाद्य वनस्पतियों से बायोएक्टिव औषधीय हर्बल चाय से संबंधित रिसर्च।
अपने संबोधन में राज्यापाल ने कहा कि विवि के रिसर्च का लाभ लोगों को मिले, तभी इसकी सार्थकता होगी। राज्यपाल ने सभी विवि से जनवरी 2025 तक रिसर्च कर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। कहा, सभी कुलपतियों को कार्य करने स्वायत्तता प्रदान की गई है। कुलपति आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और टेक्नोलॉजी का उपयोग करते हुए विवि में जवाबदेही और पारदर्शिता सुनिश्चित करें। उन्होंने विवि की हर क्रियाकलापों में टेक्नोलॉजी का ज्यादा यूज करने के निर्देश दिए। dehradun@inext.co.in