ये दो ताजातरीन केस समझने के लिए शायद काफी हैैं कि चौक चौराहों की चौकसी के लिए लगाए गए खुफिया कैमरों पर कितना भरोसा किया जाए। देहरादून स्मार्ट सिटी रेगुलर और ट्रैफिक पुलिस जैसे डिपार्टमेंट्स अक्सर कहा करते हैं कि दून स्मार्ट हो रहा है। चौक-चौराहों पर हाई रिजॉल्युशन कैमरे हर एक्टिविटी पर नजर रख रहे हैं। लेकिन इन दो घटनाओं के बाद सवाल उठ रहे हैं कि आखिर ये दो घटनाएं इन हाईटेक कैमरों में कैद क्यों नहीं हो पाईं।

सेफ्टी के लिए सिटी के कई चौराहों पर इंस्टॉल हाईटेक कैमरे नहीं कर रहे काम

देहरादून, 28 सितम्बर (ब्यूरो)। पीडि़त पुलिस की मदद से आईटी पार्क के आईटीडीए सेंटर स्थित डीआई-ट्रिपल-सी (इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर) पहुंचे। पता चला कि कई चौक चौराहों पर हाईटेक कैमरे इनेक्टिव हैैं।

49 चौराहों पर हाईटेक कैमरों का दावा
बताया गया था कि स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत दून के करीब 49 चौक चौराहों पर हाईटेक कैमरे इंस्टॉल कर दिए गए हैं। जिन्होंने काम करना भी शुरू कर दिया है। ये बात सच है कि कई बार दून स्मार्ट सिटी ने अपने इन हाईटेक कैमरों के रिजल्ट का डेटा भी शेयर किया। लेकिन, शहर के बीचोंबीच स्थित इन दो घटनाओं से इन हाईटेक कैमरों पर सवाल खड़े कर दिए हैं। ये सच्चाई तब सामने आई, जब इन दो घटनाओं के पीडि़तों ने पुलिस की हेल्प से डीआई-ट्रिपल-सी की हेल्प लेनी चाही। वहां पर मौजूद टेक्नीकल एक्सपट्र्स ने पीडि़तों को बताया कि इन कैमरों में ये घटनाएं कैद नहीं हो पाई है।

केस एक--
कार सिंगार के ओनर उत्तम अग्रवाल की गल्ले से हफ्तेभर पहले शाम को करीब 6 बजे टप्पेबाजों ने हाथ साफ कर हजारों की रकम उड़ा दी।

केस दो--
बुधवार शाम 6 बजे प्रिंस चौक पर ही मैकेनिक मुनीर ने अपनी स्कूटी दुकान के सामने खड़ी की थी। महज 5 मिनट में ले उड़े चोर।

360 डिग्री तक मूवमेंट का है दावा
बताया जा रहा है कि प्रिंस चौक पर स्मार्ट सिटी से लेकर पुलिस तक के करीब 12 से 13 कैमरे आसानी से देखे जा सकते हैं। लेकिन, इनमें से कुछ ऐसे हाईटेक कैमरे हैं, जो नॉन एक्टिव मोड पर हैं। जबकि, सरकारी विभागों की ओर से ये भी दावा किया गया था कि इन चौक चौराहों पर जो कैमरे इंस्टॉल किए गए हैं, वे 360 डिग्री पर अपना मूवमेंट तक कर सकते हैं। लेकिन, इन कैमरों का मूवमेंट तो छोडि़ए, इनसे वारदात की वीडियो तक कैप्चर नहीं हो पाई। जाहिर है कि इन कैमरों पर जो जनता का विश्वास बना हुआ था, उस पर आंच आई है। अंदाजा लगाया जा सकता है कि जब शहर के बीचोंबीच स्थित प्रिंस चौक के कैमरे नॉन एक्टिव हैं तो बाकी चौराहों पर इंस्टॉल किए गए कैमरे किस मोड में होंगे।

कैमरों के जरिये ये दावे
-चोरी के वाहन को पकडऩा।
-ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रिकॉग्निशन
-ट्रैफिक मैनेजमेंट
-ओवर स्पीड कैप्चरिंग
-24 घंटे रहेगी नजर
-चौक-चौराहे ट्रैफिक पुलिस से होंगे फ्री
-ट्रैफिक वॉयलेशन
-जुलूस, शोभा यात्रा कंट्रोलिंग

टेक्नोलॉजी स्मार्ट सिटी की, संचालन पुलिस का
दून सिटी के तमाम चौक-चौराहों पर अधिकतर नए कैमरे स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत इंस्टॉल किए गए हैं। जिनका संचालन स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत किया गया। कैमरों की टेक्नोलॉजी स्मार्ट सिटी ने मुहैया कराई है, जबकि, संचालन ट्रैफिक पुलिस को सौंपा गया है। जिस पर काम चल भी रहा है। बताया गया था कि इन कैमरों के जरिए फुटपाथ पर कब्जा, शहर में लगने वाले जाम और सड़कों व चौक-चौराहों पर होने वाले विरोध प्रदर्शन के नियंत्रण भी मदद लिए जाने का दावा है। इस बारे में स्मार्ट सिटी और ट्रैफिक पुलिस का कहना है कि कुछ निर्माण कार्यों के कारण हो सकता है कि कुछ कैमरे काम न कर रहे हों।

इस तरह के कैमरे किए गए इंस्टॉल
-एसवीडी (स्पीड वॉयलेशन डिटेक्शन)
-आरएलवीडी (रेड लाइट वॉयलेशन डिटेक्शन)
-एएनपीआर (ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रिकॉग्निशन)

::चौराहों पर इंस्टॉल कैमरों पर एक नजर::
-49 राजधानी के कुल चौराहे
-536 सीसीटीवी कैमरे
-266 एएनपीआर, आरएलवीडी व एसवीडी कैमरे
-12 किमी सिटी में फैले हुए हैं करीब 802 कैमरे
-4 चरणों में इंस्टॉल किए गए शहर में हाईटेक कैमरे


::इंस्टॉल कैमरों की खासियत::
आरएलवीडी
-इन कैमरों के जरिए ट्रैफिक वॉयलेशन, खासकर रेड लाइट जंप करने पर वाहन चालक को आसानी से पकड़ा जाने का है दावा।

एसवीडी कैमरे
-इन कैमरों के जरिए वाहनों की ओवर स्पीड को आसानी से पकड़े जाने का दावा है। वाहनों की ओवर स्पीड होने के बाद बाकायदा, उनके ई-चालान घरों तक भेजे जाने के दावे हैं।

एएनपीआर कैमरे
इन कैमरों के जरिए चोरी के वाहनों के ऑटोमैटिक नंबर प्लेट रीडिंग से पकड़े जाने का दावा किया गया है।

पीटीजेड की भी फैसिलिटी
हाईटेक कैमरों में पीटीजेड यानि पेन, टिल्ट व जूम की सुविधा भी मौजूद है। ये कैमरे किसी भी एंगल में मूव करने की क्षमता रखते हैं।

कैमरों से लैस कुछ चौराहे
अनुराग चौक, सर्वे चौक, किशन नगर चौक, निरंजनपुर मंडी चौक, सेंट ज्यूड चौक, दून हॉस्पिटल, सुभाष चौक, कमला पैलेस, नैनी बेकरीज, ओएनजीसी चौक, एफआरआई गेट, वसंत विहार, धर्मपुर चौक, लालपुर चौक, बल्लीवाला चौक, कारगी चौक, शिमला बायपास, सहारनपुर चौक, कनक चौक, लैंसडाउन चौक, 6 नंबर पुलिया, बुद्धा पार्क, गढ़ी कैंट, रिस्पना पुल, बंगाली कोठी, सहस्रधारा क्रॉसिंग, आईएसबीटी चौक, दर्शनलाल चौक, घंटाघर, प्रिंस चौक, यमुना कॉलोनी चौक, बिंदाल चौक, बहल चौक, आराघर चौक, ग्लोब चौक, सीएमआई चौक, रेस कोर्स चौक व पुरानी चुंगी चौक शामिल।

कंट्रोल रूम से ऐसे भी रखी जाती है नजर
-नो पार्किंग में वाहन पार्क
-रॉन्ग साइड पार्किंग
-रेड लाइट जंप
-ट्रैफिक सुचारू हो
-ओवरऑल इनक्रोचमेंट
-ट्रैफिक कंजक्शन

Posted By: Inextlive