1 लाख गाडिय़ों को चालान का डर
देहरादून, ब्यूरो:
पुरानी गाडिय़ों में हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट बदलवाना चाहते हंै तो, आपको अभी और इंतजार करना होगा। आरटीओ में हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट बनाने वाली कंपनी का कॉन्ट्रेक्ट खत्म हो चुका है। लेकिन, कई प्रयासों के बाद भी हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट बनाने का काम शुरू नहीं किया जा सका।
क्या है हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट
हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट लाइसेंस प्लेट्स का स्टेंडर्ड रूप है। इसमें वाहन स्वामी की और उनके वाहन से जुड़ी सारी जानकारी होती है। यह सुविधा और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए बनाई गई है। इसकी शुरुआत 2012 में हुई थी। जिसके बाद 2019 में सभी गाडिय़ों में हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट लगाना अनिवार्य होता है। नम्बर प्लेट बनवाने वाले व्यक्ति को अपने वाहन की डिटेल आरटीओ की साइट पर जाकर अपलोड करनी होती है। नम्बर प्लेट बनने के बाद उन्हें मैसेज भेज दिया जाता है और वे नंबर प्लेट लगवा सकते हैं।
कंपनी के साथ कॉन्ट्रेक्ट खत्म
आरटीओ के अधिकारियों के अनुसार देहरादून में लिंक उत्सव कंपनी को टेंडर दिया गया था। उसका टेंडर 23 दिसम्बर 2021 को खत्म हो गया था। ऐसे में सबंधित कंपनी को नम्बर प्लेट नहीं बनाने का राइट खत्म हो गया था। लेकिन मई माह में कंपनी के डीलर को इसकी परमिशन दी गई। लेकिन, इसके बाद भी वाहन स्वामी चक्कर काटते रहे लेकिन, उनके नम्बर प्लेट नहीं लग पाए।
आरटीओ में कुल रजिस्टर्ड वाहन - 11,20200
पुराने वाहनों की संख्या - 99,822
- पुराने वाहनों में पब्लिक व कॉमर्शियल वाहन शामिल।
- पहले अन्य राज्यों में जाने पर हो रहा था चालान।
- बिना हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट के दिल्ली, चंड़ीगढ़, हरियाणा व राजस्थान में हो रहे चालान।
- अब सता रहा सिटी में भी चालान का खतरा।
- चक्कर काटने के बाद भी नहीं बन पा रहे हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट। वर्जन
जिस कंपनी को हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट बनाने का टेंडर दिया गया था, उसका कॉन्टेक्ट खत्म हो चुका है। आयुक्त कार्यालय को इसकी जानकारी भेजी गई थी। एंजेसी को भी इनकी जिम्मेदारी दी गई। लेकिन, व्यवस्था नहीं हो पा रही है।
दिनेश पठोई, आरटीओ देहरादून
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