जल, जंगल, जमीन बचाने का आह्वान
- विश्व पर्यावरण दिवस पर विधिक सेवा प्राधिकरण की हुई कार्यशाला
- कार्यक्रम में लोगों को किया गया पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरुक चंदौली : विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से रविवार को स्थानीय पंडित कमलापति त्रिपाठी राजकीय डिग्री कॉलेज परिसर में कार्यशाला का आयोजन हुआ। इसमें जजों के अलावा अधिकारियों ने दस पौधे लगाए। साथ ही यहां आए सभी लोगों को दस-दस पौधे लगाने का आह्वान किया गया। इसमें नीम, पीपल, अशोक, गूलर, कंजी आदि के पेड़ शामिल थे। बनाना होगा संतुलनइस अवसर पर प्राधिकरण के सचिव आदित्य चतुर्वेदी ने कहा कि पर्यावरण संतुलन बनाए रखने के लिए पेड़, पहाड़ और जल बहुत जरूरी है। पर आधुनिकता के चक्कर में इन्हीं तीनों धरोहरों पर करारा प्रहार हो रहा है। पेड़ धड़ाधड़ काटे जा रहे हैं। पहाड़ों को समतल किया जा रहा है और जल का अंधाधुंध दोहन हो रहा है। ऐसा नहीं कि इसे रोका नहीं जा सकता पर इसके लिए समाज के हर वर्ग को आगे आना होगा। जब हमें स्वस्थ वातावरण ही नहीं मिलेगा तो आधुनिकता और पैसा किस काम का होगा।
स्वस्थ जीवन को संरक्षण जरुरीउन्होंने एक पेड़ के बारे में बताया कि एक पौध जब पेड़ बन जाता है तो वह हमें लाखों रुपये की ऑक्सीजन देता है। वहीं सौ साल से अधिक समय तक वह पेड़ हमसे बिना कुछ मांगे फल, लकड़ी, छांह और जीवन देता रहता है। पेड़ों को आक्सीजन की फैक्ट्री भी कहा जाता है तो ऐसे पेड़ों को काटने वाले और कटवाने वाले यह क्यों नहीं समझते कि वह अपने और अपनेच्बच्चों का जीवन अपने हाथ से खत्म कर रहे हैं। सिविल जज सत्यप्रकाश आर्य ने हर व्यक्ति को पौधे लगाकर उसके संरक्षण का आह्वान किया। कहा जिस व्यक्ति ने जीवन में पौधा लगाकर पेड़ नहीं बनाया उसने जीवन में कुछ नहीं किया। जिला वनाधिकारी मनोज सोनकर ने कहा जीवन सुरक्षित रखना है तो पौधा लगाना होगा। इस मौके पर क्षेत्रीय वनाधिकारी नरेंद्र राय, अजय कुमार यादव, अधविक्ता मुरलीधर सिंह, दरोगा सिंह, महेंद्र प्रताप सिंह, संजीव श्रीवास्तव आदि लोग मौजूद थे।
भारतीय रक्षा दल कार्यकर्ताओं की जिला कार्यालय में गोष्ठी हुई। इसमें पर्यावरण दिवस पर हर व्यक्ति को कम से कम एक पौधा लगाने का आह्वान किया। इस मौके पर अश्विनी पाठक, शैलेष सिंह, अरुण त्रिपाठी, लाल बिहारी, बलवंत यादव, धनंजय सिंह आदि मौजूद थे। ।