महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के गेट नंबर-3 के पास रविवार सुबह करीब साढ़े सात बजे फूल माला बेचने वाले तीन व्यापारियों ने अपनी बाइकें खड़ी कर दीं. गेट पर मौजूद सुरक्षाकर्मी ने गेट से बाइक हटाने के लिए कहा. इतना बोलते ही फूल विक्रेता भड़क गए और कहासुनी शुरू हो गई. इसी बीच फूल विक्रेताओं ने सुरक्षाकर्मी पर हमला कर दिया

वाराणसी (ब्यूरो)। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के गेट नंबर-3 के पास रविवार सुबह करीब साढ़े सात बजे फूल माला बेचने वाले तीन व्यापारियों ने अपनी बाइकें खड़ी कर दीं। गेट पर मौजूद सुरक्षाकर्मी ने गेट से बाइक हटाने के लिए कहा। इतना बोलते ही फूल विक्रेता भड़क गए और कहासुनी शुरू हो गई। इसी बीच फूल विक्रेताओं ने सुरक्षाकर्मी पर हमला कर दिया। वाकी-टाकी व घड़ी भी छिन ली। बचाने पहुंचे दूसरे सुरक्षाकर्मी को फूल विक्रेताओं ने दौड़ा लिया। यह नजारा देखते ही लाल बहादुर शास्त्री छात्रावास के छात्र लाठी-डंडे लेकर दौड़ पड़े। छात्रों ने फूल विक्रेताओं को दौड़ा-दौड़ा कर पीटना शुरू कर दिया। यह देखकर फूल विक्रेताओं ने भी पथराव कर दिया। दोनों ओर से ईंट-पत्थर चलने लगे। इसी बीच किसी ने हवाई फायरिंग कर दी। इससे अफरातफरी मच गई। सूचना मिलने पर कई थानों की पुलिस फोर्स भी मौके पर पहुंच गई। चंदुआ सट्टी में सब्जी लेने पहुंचे लोग भी भागने लगे। घटना की तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल होने से पूरे शहर में अफरा-तफरी का माहौल रहा।

बाइक व स्कूटी में तोडफ़ोड़

महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के छात्रों व मलदहिया के फूल विक्रेताओं के बीच पथराव होने के चलते सुरक्षाकर्मी सहित कई लोग चोटिल हो गए। उपद्रवियों ने कई बाइक व स्कूटी में भी तोडफ़ोड़ की। इस दौरान हवा में फायरिंग होने की भी बात कही जा रही है। हालांकि, इसकी पुष्टि नहीं हुई है। इस मामले में सिगरा पुलिस ने चार नामजद व 12 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है।

स्टूडेंट और फूल विक्रेता आमने-सामने

यूनिवर्सिटी के सुरक्षाकर्मी भानु प्रताप ने बताया, सुबह करीब 7.30 बजे फूल विक्रेताओं ने गेट नंबर तीन पर बाइकें खड़ी कर दीं। गेट से बाइक हटाने के लिए बोलने पर फूल विक्रेता मारपीट पर उतर आए। वाकी-टाकी व घड़ी भी छीन ली। बचाने पहुंचे दूसरे गार्ड को फूल विक्रेताओं ने दौड़ा लिया। मौके पर पहुंचे छात्र भी फूल विक्रेताओं से उलझ पड़े। विवाद की भनक लगते ही परिसर स्थित लाल बहादुर शास्त्री छात्रावास के छात्र लाठी-डंडे लेकर दौड़ पड़े। छात्रों ने फूल विक्रेताओं को दौड़ा-दौड़ा कर पीटना शुरू किया। वहीं, एकजुट फूल विक्रेताओं ने भी पथराव कर दिया। मलदहिया स्थित बस्ती के कुछ युवक मारपीट में फूल विक्रेताओं के साथ शामिल हो गए। दोनों ओर से ईंट-पत्थर चलने लगे। इससे अफरातफरी मच गई।

पुलिस ने खदेड़ कर कराया शांत

यूनिवर्सिटी के गेट के ऊपर अंकित काशी विद्यापीठ टूट कर नीचे बिखर गया। गेट के आसपास ईंट-पत्थर और टूटे हेलमेट बिखरे हुए थे। विवाद में कई राहगीर भी निशाने पर आ गए। चिरईगांव के दशरथ मौर्य ने बताया कि वह फूल बेचकर घर जा रहे थे। छात्रों ने घेरकर पीट दिया। दोनों पक्ष से आठ-दस लोग चोटिल हुए हैं। मौके पर पहुंची पुलिस ने छात्रों व फूल विक्रेताओं को खदेड़ कर भगा दिया। विद्यापीठ के चीफ वार्डेन डा। तेज बहादुर सिंह, पत्रकारिता संस्थान के निदेशक डा। नागेंद्र सिंह, प्रो। संतोष कुमार ने छात्रों को समझाकर शांत कराया।

तनाव बरकरार, परिसर में फोर्स तैनात

मारपीट की घटना के लेकर परिसर में तनाव बना हुआ है। फिलहाल मलदहिया स्थित गेट नंबर तीन बंद कर दिया गया है। परिसर में पूरे दिन पुलिस तैनात रही। छात्रों का कहना है कि मलदहिया फूल मंडी का दायरा दिनों-दिन बढ़ता जा रहा है। सुबह होते ही फूल विक्रेता पूरी सड़क पर कब्जा कर लेते हैं। यही नहीं मलदहिया स्थित गेट नंबर तीन के सामने भी कोई बाइक खड़ी कर देता है तो कई फूल की दुकान लगा लेता है। विरोध करने पर मारपीट करने लगते हैं।

31 दिसम्बर 2021 को हुआ था बवाल

छात्रों और फूल विक्रेताओं के बीच मारपीट का यह पहला मामला नहीं है। इसके पहले 31 दिसम्बर 2021 को भी बवाल हुआ था। गेट नंबर तीन के सामने एक माला फूल और बुके की दुकान पर छात्रों ने तोडफ़ड़ कर दुकान पर रखे फूल माला को सड़क पर फेंक दिया था। दुकानदार और उसकी पत्नी का आरोप था कि काशी विद्यापीठ के कुछ छात्र नशे में दुकान पर आए और 500 रुपए मांगने लगे। विरोध किया तो छात्रों ने दुकान पर तोडफ़ोड़ की थी।

लंबे समय से चला आ रहा मारपीट का सिलसिला

काशी विद्यापीठ कैम्पस के अंदर लगभग आए दिन किसी बात को लेकर छात्र गुटों के बीच मारपीट होती रहती है। यह सिलसिला लंबे समय से चल रहा है। कई छात्र राजनीतिक संगठनों से जुड़े हैं और बड़े नेताओं के संपर्क में रहते हैं। यही वजह है कि सामाजिक, राजनीतिक समेत अन्य मुद्दों को लेकर अक्सर यहां कहासुनी और बवाल होता है। इस तरह के बवाल को रोकने के लिए यूनिवर्सिटी कैम्पस में पुलिस चौकी खुली है, जहां बड़ी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात रहती है। इसके अलावा पीएसी भी डेरा जमाये रहती है। छात्रसंघ चुनाव के दौरान चंदा को लेकर कई बार छात्रों और दुकानदारों के बीच भी मारपीट हुई है।

इस साल काशी विद्यापीठ में बवाल

11 जनवरी 2024 : महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में एक छात्र ने पिस्टल लहराते हुए एक गुट के छात्रों को गोली मारने की धमकी दी।

12 मई 2024 : काशी विद्यापीठ के मानविकी संकाय के सामने छात्रों के दो गुट आपस में भिड़ गए थे। छात्र विजय कुमार सोनकर की लात-घूंसे से जमकर पिटाई कर दी गई।

25 जून 2024 : काशी विद्यापीठ में छात्रों के बीच जमकर मारपीट हुई थी। रात में टहलने के दौरान किसी बात पर दो गुटों में कहासुनी के बाद लड़ाई हुई थी।

Posted By: Inextlive