Varanasi news: श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में छह स्थानों पर एलईडी, गर्भगृह से होगा सजीव प्रसारण
वाराणसी (ब्यूरो)। बाबा को प्रिय मास सावन में किन्हीं कारणों से काशी न आ सकने वाले श्रद्धालुओं के लिए श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने आनलाइन दर्शन-पूजन, अभिषेक, रुद्री पाठ की व्यवस्था की है। मंदिर की आधिकारिक वेब साइट 222.ह्यद्म1ह्ल.शह्म्द्द पर श्रद्धालु कहीं से भी बाबा विश्वनाथ का आनलाइन दर्शन, पूजन, रुद्राभिषेक व रुद्री पाठ की सुविधा पा सकेंगे। मंदिर परिसर में पहुंचे श्रद्धालु कतार में भी गर्भगृह तक पहुंचने की अपनी बारी आने तक बाबा का दर्शन, गर्भगृह में चल रही पूजा-आरती, राग-भोग का दर्शन पाएंगे। इसके लिए धाम परिसर में छह स्थानों पर बड़ी एलईडी स्क्रीन लगाई गई है।
सीईओ विश्व भूषण मिश्र ने बताया कि श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर के विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर फेसबुक पेज, यूट््यूब पेज, एक्स आदि पर भी बाबा का आनलाइन दर्शन किया जा सकता है। मंदिर की आधिकारिक वेबसाइट 222.ह्यद्म1ह्ल.शह्म्द्द पर विभिन्न प्रकार की पूजा रुद्री, रुद्राभिषेक, रुद्री पाठ आदि बुक कराया जा सकता है। धाम परिसर में छह स्क्रीन एलईडी प्रवेश द्वार क्रमांक चार, मंदिर चौक, मंदिर परिसर, गंगा द्वार, गीता प्रेस पुस्तकालय के पास और यात्री सुरक्षा केंद्र क्रमांक एक और दो के पास लगाई गई है।
सज रहे मंदिर, लग रही बैरीकेङ्क्षटगसावन का उत्साह शिवालयों में छलक पड़ा है। विश्वनाथ धाम के साथ ही समूची काशी में शिवालयों की सफाई, रंगाई व साज-सज्जा का कार्य अंतिम चरण में है। सोमवार से आरंभ हो रहे सावन के लिए शिवालयों को फूलों व विद्युत झालरों से सजाया जा रहा है। मंदिर जाने वाले मार्गों की सफाई के साथ भीड़ प्रबंधन के लिए बैरीकेङ्क्षडग की जा रही है।
कांवरियों की सुविधा के लिए जगह-जगह शिविर बनकर तैयार बाबा विश्वनाथ के दर्शन-पूजन व जलाभिषेक के लिए बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं, कांवरियों के लिए विभिन्न सामाजिक संगठनों द्वारा जगह-जगह शिविर लगभग तैयार हैं। इनमें कांवर टांगने, विश्राम के अतिरिक्त, जलपान, अल्पाहार, भोजन की निश्शुल्क व्यवस्था की गई है। पैदल चलने से कांवरियों के छालों से युक्त चोटिल पांवों के घावों पर मरहम, पट्टी की भी व्यवस्था इन शिविरों में होगी।