Varanasi news: बनारस में हॉफ एनकाउंटर का फुल खौफ, जनवरी से अक्टूबर तक 18 एनकाउंटर हुए, 23 बदमाश गिरफ्तार
वाराणसी (ब्यूरो)। कोरौता में लोहता पुलिस चेकिंग कर रही थी। इस बीच बाइक से दो युवक आते दिखे। पुलिस ने रोका तो युवकों ने फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में पुलिस ने फायर कर दिया। एनकाउंटर के दौरान पैर में गोली लगने से एक युवक गिर पड़ा। यह देखते हुए पुलिस दौड़ी तो मौका देखकर दूसरा युवक फरार हो गया। गिरफ्तार युवक की पहचान महेश गुप्ता के रूप में हुई, फरार का नाम शिवम यादव है। तीन दिन पहले रजवाड़ी हवाई पट्टी के पास भी पुलिस व बदमाश में के बीच एनकाउंटर हुई थी। इस दौरान बदमाश बहादुर चौधरी के पैर में गोली लगी, जिससे वह घायल हो गया। बनारस में लंबे समय से हॉफ एनकाउंटर हो रहा है। इस कारण कमिश्नरेट पुलिस का फुल खौफ है। यही वजह है कि एक लाख से लेकर 25 हजार तक के 44 इनामी अपराधी बनारस छोड़कर अन्य शहरों में शरण ले लिये हैं। कई तो देश ही छोड़कर फरार हो गए हैं।
लंबे समय से फरार हैं एक लाख इनामी बीकेडीधरहरा (चौबेपुर) निवासी इंद्रदेव सिंह उर्फ बीकेडी पर कैंट में साल 2013 में हत्या के प्रयास, इसी साल चौबेपुर में हत्या, साजिश रचने के आरोप में केस दर्ज हुआ। पूर्व एमएलसी बृजेश सिंह के चचेरे भाई सतीश सिंह की हत्या में फरार बीकेडी का अब तक पता नहीं है। पुलिस का डर ही है कि लंबे समय से बीकेडी वाराणसी या आसपास जिलों में नहीं दिख रहा है। हालांकि उसकी तस्वीर भी पुलिस के पास नहीं है। वह एक लाख का इनामी है। मौजूदा समय में जरायम की दुनिया में इसका जबरदस्त खौफ है।
कोतवाली में रहता था विश्वास नेपाली कपिलेश्वर गली (कोतवाली) निवासी कुख्यात विश्वास शर्मा उर्फ नेपाली साल 2005 के बाद से पुलिस के रडार पर नहीं है। चौबेपुर में हत्या और हत्या के प्रयास के बाद फरार हुआ। उस पर 50 हजार रुपये का इनाम घोषित है। शुरू में वह मुन्ना बजरंगी गिरोह से जुड़ा, बाद में नेपाल में खुद का नेटवर्क बनाया। वहां से भी वाराणसी के अपराध जगत में इसकी दखल रहती है, लेकिन यहां वह आता नहीं है। 12 साल से फरार है अजीम अहमद धन्नीपुर (चौबेपुर) का अजीम अहमद उर्फ डॉक्टर कुख्यात अपराधी है। 28 मई 2012 को शिवपुर में मार्बल कारोबारी की हत्या के बाद से फरार अजीम पर 50 हजार का इनाम है। मध्य प्रदेश में आपराधिक गतिविधियों में संलिप्तता की बात सामने आ रही है, लेकिन वाराणसी में उसका लोकेशन नहीं मिल रहा है।
पुलिस के रडार पर 44 अपराधी
बीकेडी, विश्वनाथ नेपाली, अजीज अहमद यानी तीन ही नहीं, बल्कि ऐसे अपराधियों की संख्या टोटल 44 है, जो लंबे समय से फरार हैं। इन पर ढाई हजार से लेकर एक लाख रुपये तक इनाम है। सबसे अधिक वरुणा जोन में 20 बदमाश हैं। इसके बाद काशी जोन में 19 और गोमती जोन में संख्या पांच है। इन बदमाशों को पकडऩे के लिए 15 दिन का समय दिया गया है। तय समय में बदमाश सलाखों के पीछे नहीं होंगे तो संबंधित थाना प्रभारियों पर एक्शन भी हो सकता है। घुटने के नीचे लगी गोली वाराणसी में इस साल कुल 18 एनकाउंटर हुए हैं। एक जुलाई से अक्टूबर के बीच नौ बदमाश विकास उर्फ गोलू चौहान, किशन सरोज, शिवा, सुरेंद्र जायसवाल, विनोद भारती, रुद्र प्रताप सिंह उर्फ चंदन, अंशू प्रसाद, संदीप यादव, राजकुमार भारद्वाज गिरफ्तार किए गए। सबके दाएं और बाएं पैर में घुटने के नीचे गोली लगी थी। फैक्ट एंड फीगर 10 महीने में 18 एनकाउंटर 06 बदमाश 20 हजार इनामी 09 अपराधी 25 हजार इनामी 03 अपराधी 50 हजार इनामी 03 बदमाश एक लाख इनामीअपराधियों का ठिकाना सिर्फ जेल ही है। जिले के फरार बदमाशों की तलाश में थाना पुलिस और क्राइम टीम जुटी है। एसटीएफ और अन्य एजेंसियां भी लगी हैं। फरार अपराधी भी जल्द ही सलाखों के पीछे होंगे।
मोहित अग्रवाल, पुलिस कमिश्नर