विकास प्राधिकरण की आवासीय योजना शास्त्री नगर में फ्लैट के नामांतरण के नाम पांच हजार रुपये घूस लेते हुए लिपिक रवि शंकर को एंटी करप्शन की टीम ने रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया. आरोप है कि फ्लैट नामांतरण के नाम पर लिपिक 50 हजार रुपये मांग रहा था. मंगलवार को दोपहर में करीब साढ़े 12 बजे फाइल बढ़ाने के लिए अधिवक्ता ने लिपिक को जैसे ही पांच हजार रुपये दिए उसे टीम ने पकड़ लिया.

वाराणसी (ब्यूरो)। विकास प्राधिकरण की आवासीय योजना शास्त्री नगर में फ्लैट के नामांतरण के नाम पांच हजार रुपये घूस लेते हुए लिपिक रवि शंकर को एंटी करप्शन की टीम ने रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। आरोप है कि फ्लैट नामांतरण के नाम पर लिपिक 50 हजार रुपये मांग रहा था। मंगलवार को दोपहर में करीब साढ़े 12 बजे फाइल बढ़ाने के लिए अधिवक्ता ने लिपिक को जैसे ही पांच हजार रुपये दिए उसे टीम ने पकड़ लिया। एंटी करप्शन टीम उसे पकड़ कैंट थाने ले गई और उसके खिलाफ भ्रष्टाचार में मुकदमा दर्ज कराया।

विकास प्राधिकरण के संपत्ति अनुभाग में वरिष्ठ लिपिक रवि शंकर के पास वीडीए की आवासीय योजना शास्त्री नगर का काम है। एंटी करप्शन की टीम सुबह साढ़े 11 बजे वीडीए पहुंच गई थी। उसके साथ अधिवक्ता भी पहुंचा था। अधिवक्ता ने उसे पांच हजार रुपये देने की बात कही तो उसने मना कर दिया। कुछ देर तक अधिवक्ता लिपिक के पास खड़ा रहा और बाद में बाहर बरामदे में शौचालय के पास बुलाया। अधिवक्ता ने जैसे ही लिपिक को पांच हजार रुपये थमाए एंटी करप्शन की टीम ने पकड़ा। पानी से धुलवाया तो हाथ रंगे थे। वही नोट मिले जो एंटी करप्शन की टीम ने दिया था।

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50 हजार रुपये में साहब और मेरा हिस्सा

सिगरा थाना क्षेत्र की शास्त्री नगर कालोनी के फ्लैट नंबर एल-10/138 पर नामांतरण कराने के लिए अधिवक्ता शिव कुमार सिन्हा करीब चार वर्ष से वीडीए कार्यालय का चक्कर लगा रहे हैं। अधिवक्ता का आरोप है कि नामांतरण कराने के लिए अधिकारी और लिपिक के पास जाने पर दोनों एक-दूसरे पर नहीं करने की बात करते थे। बाद में लिपिक ने कहा कि वीडीए में बिना पैसे के कोई काम नहीं होता है। 50 हजार रुपये दीजिए, इसमें साहब और मेरा हिस्सा दोनों का है।

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छह नवंबर को पुलिस उपाधीक्षक से की थी शिकायत

अधिवक्ता शिवकुमार सिन्हा ने परेशान होकर छह नवंबर को भ्रष्टाचार निवारण संगठन के पुलिस उपाधीक्षक वाराणसी मंडल के पास शिकायत की थी। उपाधीक्षक ने निरीक्षक राजेश कुमार यादव के नेतृत्व में ट्रैप टीम गठित कर मामले का निस्तारण करने का आदेश दिया। पीडि़त को एक बार फिर लिपिक के पास भेजा गया। पीडि़त को लिपिक रविशंकर ने सुविधा शुल्क के साथ 19 नवंबर को बुलाया। ट्रैप टीम ने जिलाधिकारी को अग्रिम करवाई की सूचना दी। जिस पर साक्षी के रूप में बीएसए कार्यालय के दो लिपिक अखिलेश यादव व मनोज श्रीवास्तव को लेकर छापेमारी करने का निर्देश दिया गया। ट्रैप टीम निरीक्षक राजेश कुमार यादव, राजेश ङ्क्षसह, उमा शंकर यादव, शैलेन्द्र कुमार राय, अजित ङ्क्षसह, अजय यादव, आशीष शुक्ला, सूरज गुप्ता, वीरेंद्र प्रताप व अश्वनी पांडेय की टीम वीडीए पहुंची।

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सात नोट पांच सौ और 15 नोट सौ-सौ के थे

पीडि़त अधिवक्ता शिव कुमार सिन्हा के साथ पांच सौ के सात नोट व 100 के 15 नोट मिलाकर पांच हजार नोट के साथ ट्रैप टीम लोकेशन पर पहुंची। नोट लेते हुए वीडीए लिपिक रविशंकर, निवासी सरदार पटेल मार्ग, सिविल लाइन, प्रयागराज को रंगे हाथ दबोच लिया। मुकदमा वादी निरीक्षक राजेश यादव की तहरीर पर आरोपी रविशंकर के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 7, 13(1) बी,13(2) के तहत मुकदमा दर्ज किया गया।

Posted By: Inextlive