कम्प्लेन की कतार, सुनने को नहीं तैयार
-आईजीआरएस पर कम्प्लेन शॉर्टआउट करने में वाराणसी 28वें पायदान पर
- नगर निगम, वीडीए, विकास भवन, शिक्षा विभाग में शिकायतों की भरमार VARANASI पब्लिक रोजाना प्रॉब्लम की कम्प्लेन सरकारी विभागों में कर रही है। पर उनकी कम्प्लेन शॉर्टआउट नहीं हो रही है। इस मामले में बनारस का एडमिनिस्ट्रेशन नाकाम साबित हो रहा है। दरअसल ये हम नहीं कह रहे हैं बल्कि आईजीआरएस पर कम्प्लेन शॉर्टआउट करने के मामले में बनारस को मिली रैंक बता रही है। जिले को पूरे प्रदेश में 28वीं रैंक हासिल हुई है। यही वजह है कि विभागों में कम्प्लेन की कतार लगती जा रही है। जिसका निस्तारण बहुत स्लो हो रहा है। हालांकि बनारस पुलिस इस मामले में नंबर वन साबित हुई है। पुलिस को शिकायत निस्तारण में पहली रैंक मिली है। कर रहे सिर्फ कोरमपूर्तिशहर की समस्याओं के समाधान के लिए बनाये गए आईजीआरएस पोर्टल पर शिकायतों की भरमार है। लेकिन अफसर शिकायतों के निस्तारण में कोई खास इंट्रेस्ट नहीं ले रहे हैं। समय पर तहसील दिवस, थाना दिवस और जनता दरबार लग रही है। फिर भी नगर निगम, जलकल, विकास प्राधिकरण, विकास भवन, शिक्षा विभाग, तहसील में भ्रष्टाचार व लापरवाही की शिकायतें कम नहीं हो रही है। मतलब साफ है कि बनारस में सिर्फ कोरमपूर्ति चल रही है। काम नहीं हो रहा है। क्योंकि जो रैंक बनारस को मिली है वह तो यही साबित कर रही है।
नगर निगम टॉप पर वैसे तो सभी विभागों में कम्प्लेन का निस्तारण नहीं हो रहा है पर इस मामले में नगर निगम टॉप पर है। निगम में सबसे ज्यादा कम्प्लेन पेंडिंग है। इसमें भी सबसे ज्यादा मामले सीवर और सफाई के आते हैं। लेकिन विभाग समस्याओं का निस्तारण करने में फेल है। कुछ एक को छोड़ दें तो ज्यादातर शिकायतों पर अधिकारी और कर्मचारी हाथ खड़े कर लेते हैं। दूसरे नंबर पर जलकल विभाग है। यहां भी समस्याओं की लाइन लगी है। इसी तरह बिजली विभाग और वीडीए है। बनारस से खराब गोरखपुरआईजीआरएस पोर्टल पर सीएम, डिप्टी सीएम, कमिश्नर, डीएम के पास पहुंचने वाली शिकायतों के अलावा तहसील व थाना समाधान दिवस, लोकवाणी, ऑनलाइन शिकायतों का निस्तारण होता है। इन स्थानों पर कम्प्लेन की फीडिंग, निस्तारण के अंक मिलते हैं। जो शिकायतें संतोषनजक ढंग से निस्तारित नहीं होती है उन्हें सी कैटेगरी में रखा जाता है। इस प्रोसेस में 24 घंटे से 15 दिन के बीच कम्प्लेन शॉर्टआउट करना होता है। लेकिन पीएम का संसदीय क्षेत्र होने के बावजूद वाराणसी में हालत ठीक नहीं है। वहीं गोरखपुर का परफॉर्मेस सबसे खराब है। ये जिला 72वें पायदान पर है। मैनपुरी, मथुरा और कासगंज संयुक्त रूप से पहले पायदान पर है।
पुलिसिंग में वाराणसी टॉप पर कम्प्लेन शॉर्टआउट करने के मामले में पुलिस महकमा एकदम परफेक्ट है। वाराणसी पुलिस पब्लिक की शिकायतों को गंभीरता से ले रही है। इसी का नतीजा है कि आईजीआरएस पर आने वाली कम्प्लेन के निस्तारण में बनारस पहले पायदान पर है।